अशोक तंवर ने चुटकी लेते हुए कहा कि राजनीतिक भाषा में कांग्रेस को बच्चा खाणी पार्टी कहा जाता है। जिसका मतलब अब समझ में आ रहा है। तंवर ने कहा कि यहां कई युवा नेताओं की तो भ्रूण हत्या ही कर दी जाती है जबकि कई युवा नेता जब अपने पैरो पर खड़े होते हैं तो पार्टी में बैठे मगरमच्छ उन्हें खा जाते हैं। पूर्व अध्यक्ष ने बगैर किसी का नाम लिए कहा कि राष्ट्रीय स्तर पर राहुल गांधी के नेतृत्व में कांग्रेस की एक नई टीम तैयार हो रही थी। जिसका पूरे देश में फैलाव हो रहा था लेकिन कुछ वरिष्ठ व उम्रदराज नेताओं ने अपने स्वार्थों की पूर्ति के लिए ऐसे हालात पैदा कर दिए कि राहुल गांधी को भी अपने पद से इस्तीफा देना पड़ गया।
तंवर ने कहा कि राहुल गांधी के संरक्षण में वह पांच साल तक हरियाणा में कांग्रेस अध्यक्ष पद पर बने रहे लेकिन कुछ नेताओं द्वारा प्रदेश ही नहीं बल्कि राष्ट्रीय स्तर पर भी साजिश की जा रही है। यह साजिश कभी संसद के बाहर होती है तो कभी गुप्त बैठकों में होती है। इन्हीं कारणों के चलते आज हरियाणा ही नहीं देशभर में कांग्रेस पार्टी आईसीयू में पहुंच चुकी है। कांग्रेस को चिंतर,मनन, आत्मचिंतन करने के साथ-साथ पार्टी के भीतर ही राजनीतिक स्वच्छता अभियान चलाने की जरूरत है।
सोनिया की सहमति केवल औपचारिकता हरियाणा में टिकट आबंटन से गुस्साए अशोक तंवर ने कहा कि किसी भी राज्य में चुनाव के दौरान प्रत्याशियों के ऐलान से पहले अंतिम सहमति सोनिया गांधी की ली जाती है। जिसमें उन्हें पूरे राजनीतिक समीकरण बताए जाते हैं लेकिन वह केवल औपचारिकता होती है। तंवर ने कहा कि सोनिया गांधी तक सूची पहुंचने से पहले कई नेता अपना खेल कर जाते हैं। इस खेल में हरियाणा व केंद्र के नेता आपस में मिले हुए हैं।