scriptनगर निगम की मनमानी से हैरान-परेशान लोग: एकदम से इस शहर में 40 फीसदी तक बढ़ाकर थोप दिया टैक्स | Municipal corporation katni tax increased by 40 percent | Patrika News
कटनी

नगर निगम की मनमानी से हैरान-परेशान लोग: एकदम से इस शहर में 40 फीसदी तक बढ़ाकर थोप दिया टैक्स

शहर के लोगों पर पहले एक साथ जलकर में 90 रुपये से बढ़ाकर डबल करना, फिर 360 रुपये स्वच्छता कर का भार और अब एक साथ संपत्ति कर में 20 से 40 फीसदी तक बढ़ोत्तरी कर दी गई है। इससे शहरवासियों में भार बढ़ गया है। वित्तीय वर्ष की समाप्ति पर कार्रवाई से बचने लोग जब टैक्स जमा करने पहुंच रहे है तो उन्हें मालूम पड़ रहा है कि पहले के वर्षों में 300 रुपये लग रहा था जो अब बढ़कर सीधे एक हजार रुपये के आसपास पहुंच गया है।

कटनीMar 18, 2020 / 10:10 am

balmeek pandey

Municipal corporation katni tax increased by 40 percent

Municipal corporation katni tax increased by 40 percent

कटनी. शहर के लोगों पर पहले एक साथ जलकर में 90 रुपये से बढ़ाकर डबल करना, फिर 360 रुपये स्वच्छता कर का भार और अब एक साथ संपत्ति कर में 20 से 40 फीसदी तक बढ़ोत्तरी कर दी गई है। इससे शहरवासियों में भार बढ़ गया है। वित्तीय वर्ष की समाप्ति पर कार्रवाई से बचने लोग जब टैक्स जमा करने पहुंच रहे है तो उन्हें मालूम पड़ रहा है कि पहले के वर्षों में 300 रुपये लग रहा था जो अब बढ़कर सीधे एक हजार रुपये के आसपास पहुंच गया है। पूर्व के कुछ वर्षों में नगर निगम करों की दरों का निर्धारण नहीं किया और न ही लागू किया, लेकिन वित्तीय वर्ष 2019-20 में एकाएक बढ़ी हुई राशि से हर कोई परेशान है। जानकारी के अनुसार 2010-11 में स्वकर निर्धारण हुआ था। अबतक टैक्स में बढ़ोत्तरी नहीं की गई थी। बताया जा रहा है कि नगर निगम को पिछले वर्ष लगभग 12 करोड़ रुपये के राजस्व का टारगेट था, जिसे बढ़ाकर 23 करोड़ कर दिया गया है। इस टारगेट को पूरा करने के लिए बढ़े हुए दर से टैक्स जमा कराया जा रहा है। लोगों से समेकित, संपत्ति कर, संपत्ति उपकर, शिक्षा उपकर के साथ बढ़ी हुई दरों से वसूली की जा रही है। बता दें कि स्लैब की गणना आयकर के समान लगाई जानी चाहिए। वार्षिक भाड़ा 6 हजार रुपये तक को संपत्तिकर से मुक्त रखा गया है। वार्षिक भाड़ा 6 हजार 1 रुपये के बाद पूर्ण वार्षिक भाड़ मूल पर संपत्ति कर लगाया जाना चाहिए।

 

कोरोना वायरस की दहशत और बदले मौसम ने बिगाड़ी लोगों की सेहत, सर्दी-जुखाम व वायरल बुखार के मरीजों से भर गया अस्पताल, देखें वीडियो

 

यह है संपत्ति कर की दरों का निर्धारण
छह हजार रुपये वार्षिक भाड़ा वाली संपत्ति को संपत्ति कर से मुक्त रखा गया है। 6 हजार 1 रुपये से लेकर 20 हजार रुपये तक वार्षिक भाड़ा मूल्य में 6 प्रतिशत, 20 हजार एक रुपये से लेकर 40 हजार रुपये तक वार्षिक भाड़ा का 8 प्रतिशत व 40 हजार 1 रुपये से अधिक वार्षिक भाड़ा पर 10 प्रतिशत दर का निर्धारण हुआ है, लेकिन इससे भी अधिक की वसूली हो रही है।

 

चार वार्डों में दूसरी पारी में चला विशेष सफाई अभियान, कलेक्टर की फटकार के बाद दिखा असर

 

खास-खास:
– आयुक्त, निवर्तमान महापौर के पास भी लोग दर्ज करा चुके हैं टैक्स बढऩे की शिकायत, 30-40 प्रतिशत दर बढ़ाने को ठहरा रहे गलत।
– जियो टैगिंग के बाद एरिया की वास्तविक स्थिति सामने आने व राजस्व की स्थिति खराब होने पर बढ़े रेट से वसूली की बात कह रहे अधिकारी।
– नगर निगम को 18 करोड़ रुपये मिलती थी चुंगी, इस वर्ष आए हैं मात्र 11 करोड़ रुपये, 7 करोड़ रुपये की कटौती से भी है समस्या।
– फंड न होने के कारण नगर निगम के अधिकारी बना रहे ऐसी स्थिति, वित्तीय वर्ष की समाप्ति पर कार्रवाई से बचने चल रहा खेल।
– हर वित्तीय वर्ष के लिए दरों का होना चाहिये था निर्धारण, 2018-19 में दरों का भी नहीं हुआ दरों का निर्धारण।

 

गजब! इस जिले में बगैर विकास कराए करोड़ों रुपये हड़प गए थे जनप्रतिनिधि व कर्मचारी, अब हुआ ये हाल

 

चार जोनों में बांटा गया है शहर
राजस्व को लेकर भी शहर को चार जोनों में बांटा गया है। अ जोन में 1, 2, 13, 14, 16, 17, 18, 31, 32, 33, 34, 35, 36, 37, 38, 44 एवं 45 नंबर वार्ड को शामिल किया गया है। इसी तरह ब जोन में 3, 4, 5, 10, 12, 28, 29, 30, 39, 40, 41, 42, 43, स जोन में 6, 7, 8, 9 एवं 11 नंबर वार्ड व द जोन में 19, 20, 21, 22, 23, 24, 25, 26 व 27 नंबर वार्ड शामिल किए गए हैं।

इनका कहना है
एक साथ मनमाने तरीके से टैक्स बढ़ाना पूरी तरह से अनुचित है। वित्तीय वर्ष 2018-19 में तो दर का भी निर्धारण नहीं कराया गया। इसका विरोध भी किया है। एक साथ 25 प्रतिशत से अधिक टैक्स में बढ़ोत्तरी का विरोध किया जाएगा। अगले वित्तीय वर्ष में शहर की जनता पर भार कम हो इसके लिए विशेष प्रयास किए जाएंगे। इसकी जांच के लिए भी मांग करेंगे।
मिथलेश जैन, निवर्तमान पार्षद व शहर कांग्रेस अध्यक्ष।

 

रेत निकालते समय धसकी मिट्टी में दबने से युवक की मौत, 20 फीट नीचे मिली लाश, मचा हड़कंप

 

टैक्स बढ़ोत्तरी का प्रस्ताव राजस्व समिति ने एमआइसी में रखा वहां से पास होने के बाद परिषद की अनुशंसा पर ही लगाया गया है। टैक्स की बढ़ोत्तरी 40 से 50 प्रतिशत तक की बढ़ोत्तरी की शिकायत हुई है। एकसाथ इतनी बढ़ोत्तरी नहीं होना चाहिए। इसका विरोध किया जाएगा, ताकि शहरवासियों को रियायत मिल सके।
शशांक श्रीवास्तव, निवर्तमान महापौर।

यह प्रस्ताव राजस्व समिति ने एमआइसी में रखा इसके बाद आखिरी परिषद की बैठक में पास होने पर लगाया गया है। स्वकर निर्धारण 2010-11 में हुआ। इसको बढ़ाने की कार्यवाही इस वित्तीय वर्ष में हुई है। 20 से 25 फीसदी ही बढ़ाया गया है। अभी सिर्फ फोकस राजस्व वसूली पर है।
जागेश्वर पाठक, राजस्व प्रभारी नगर निगम।

loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो