17 दिसंबर 2025,

बुधवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

नोएडा में बनेगी देश की पहली ये चीज, 700 करोड़ रुपए में होगी तैयार, कैबिनेट में होगा फैसला

-international cultural museum : नोएडा में बनेगा देश का पहला निजी अंतरराष्ट्रीय सांस्कृतिक संग्रहालय -700 करोड़ की आएगी लागत, कैबिनेट से जल्द मिलेगी मंजूरी

2 min read
Google source verification

लखनऊ

image

Ruchi Sharma

Jul 13, 2019

yogi

डीएम ने अफसरों को चेताया- कहा-ये है सीएम (CM YOGI)की प्राथमिकता वाला कार्यक्रम, पूरा करने को दस दिन की मोहलत

लखनऊ. उत्तर प्रदेश सरकार जल्द ही नोएडा को एक बड़ा तोहफा देने जा रही है। अब नोएडा को देश का पहला निजी अंतरराष्ट्रीय संस्कृतिक संग्रहालय (International Cultural Museum) मिलेगा। इसके लिए एक निजी कंपनी नोएडा में 700 करोड़ रुपए का निवेश करने को तैयार हैं। चूंकि प्रदेश में निजी संग्रहालय शुरू करने की कोई नीति नहीं है क्षेत्र में निजी निवेश नीति बनाकर इसे जल्द ही कैबिनेट में मंजूरी दी जाएगी।

यह भी पढ़ें- सीधे मुख्यमंत्री सुनेंगे आपकी शिकायत, 24 घंटे के अंदर होगा बड़ा एक्शन, प्रदेश सरकार का सबसे बड़ा कदम-

700 करोड़ रुपए खर्च कर बनेगा संग्रहालय

खास बात यह है कि कंपनी ने नोएडा में इसके लिए जमीन भी देख ली है। कंपनी अपनी जमीन पर । वहीं कंपनी के इस प्रस्ताव पर मुख्य सचिव डॉ अनूप चंद्र पांडे ने संस्कृत विभाग के अधिकारियों को इस निजी अंतरराष्ट्रीय संग्रहालय के निर्माण और संचालन के लिए नीति बनाने की जिम्मेदारी दी गई है। नीति बनने के बाद प्रदेश सरकार और निजी कंपनी के बीच सैद्धांतिक समझौता होगा। इसकी घोषणा 28 से 29 जुलाई को किए जाने की उम्मीद है।

यह भी पढ़ें- सरकारी विभागों को खत्म करने को लेकर आई बड़ी खबर, योगी कैबिनेट पर इन प्रस्तावों पर लगी मुहर

इन बातों का रखा जाएगा ख्याल

इस संग्रहालय को पीपीपी मॉडल पर बनाए जाने का प्रस्ताव है। नोएडा में प्रस्तावित यह अंतरराष्ट्रीय संग्रहालय निजी क्षेत्र का होगा, इसलिए प्रदेश सरकार इस प्रस्ताव को स्वीकृति देने से पहले फूंक-फूंक कर कदम रख रही है। इसके लिए बन रही नीति में कुशीनगर में प्रस्तावित मैत्रेय परियोजना में भगवान बुद्ध की विशाल प्रतिमा और अन्य निर्माण के काम में आई अड़चनों के अनुभवों का भी ख्याल रखा जा रहा है। इस निजी अंतरराष्ट्रीय संग्रहालय का संचालन कैसे होगा, इसके संचालन और रखरखाव में आने वाले खर्च का वाहन कौन करेगा, संग्रहालय में आने वाले दर्शकों के प्रवेश शुल्क व अन्य आदमी पर भी गौर किया जा रहा है।