पुलिस काे एक कार थाना रतनपुरी क्षेत्र में मिली है जबकि दूसरी कार सिखेड़ा क्षेत्र के गांव नगला कबीर के पास चितौड़ा झाल के निकट मिली। आशंका जताई जा रही है कि एक कार सर्दियों से नहर में पड़ी हुई थी। दरअसल इनके अंदर से जो शव मिले हैं उन्हाेंने जरकीन और स्वेटर पहने हुए हैं। बाद में पता चला कि इनकी गुमशुदगी जनवरी माह में दर्ज थी। पुलिस इनकी तभी से तलाश कर रही थी लेकिन काेई पता नहीं चल रहा था। कार से मिले ड्राइविंग लाइसेंस के आधार पर एक मृतक व्यक्ति की पहचान हरेन्द्र दत्त आत्रेय निवासी मेरठ के रूप में हुई है। कार का नंबर up 15 ak 5227 है।
दरअसल बरसात के मौसम में गंग नहर में सिल्ट आने के कारण हरिद्वार से गंगा नहर का पानी रोका जाता है। इसी प्रक्रिया में उत्तराखंड में हुई भारी बारिश के कारण इस बार भी गंगनहर का पानी रोका गया और जैसे ही गंगनहर का पानी कम हुआ तो जनपद
मुजफ्फरनगर में दो अलग-अलग थाना क्षेत्रों में गंगनहर में कार डूबी मिली। दोनों ही कारें सर्दी के मौसम की डूबी हुई बताई जा रही है। दोनों कारों में मिले शवों की पहचान हो गई है। दोनों की गुमशुदगी जनवरी और फरवरी माह में थाना नई मंडी कोतवाली में दर्ज हैं। दूसरी कार को बाहर निकाला गया तो उसमे भी एक शव मिला। कार की तलाशी लेने पर पुलिस को एलआईसी के कार्ड मिले जिसके आधार पर मृतक की व्यक्ति की पहचान हरेन्द्र दत्त आत्रे उम्र 62 वर्ष निवासी मेरठ वैशाली कालोनी के रूप मे हुई म्रतक कुछ वर्ष से द्वारका सिटी मुज़फ्फरनगर मे परिवार सहित रह रहा थे वही पुलिस ने युवक का शव पीएम के लिए भेज दिया। दूसरी कार में मिले मृतक की शिनाख्त दिलशाद अंसारी निवासी लखान थाना तितावी के रूप में हुई है। इसकी गुमशुदगी भी फरवरी में लिखाई गई थी।