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हमको अपने ढंग से मंदिर बनाने की अनुमति मिले : शंकराचार्य

झोतेश्वर में रामजन्म भूमि मर्यादा-रक्षा सम्मेलन का आयोजन, मंदिर निर्माण ट्रस्ट अमान्य घोषित करने सहित 15 प्रस्ताव पारित हुए

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राम मंदिर को लेकर शंक्राचार्य का बड़ा बयान, इस तरह दिखेगा अद्भुत और विशाल

राम मंदिर को लेकर शंक्राचार्य का बड़ा बयान, इस तरह दिखेगा अद्भुत और विशाल

नरङ्क्षसहपुर/गोटेगांव. राम मंदिर निर्माण और ट्रस्ट गठन को लेकर ज्योतिषपीठ एवं द्वारका शारदापीठ के शंकराचार्य स्वरूपानंद सरस्वती ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट में हमने सिद्ध किया कि वही रामजन्म भूमि है फिर हमको अपने ढंग से मंदिर बनाने का अवसर मिलना चाहिए। गोटेगांव के झोतेश्वर में रविवार को आयोजित श्रीरामजन्म भूमि मर्यादा-रक्षा महासम्मेलन में संतों व रामभक्तों को संबोधित करते हुए उन्होंने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ को भी आड़े हाथों लिया। गोटेगांव के झोतेश्वर में रविवार को आयोजित श्रीरामजन्म भूमि मर्यादा-रक्षा महासम्मेलन में संतों व रामभक्तों को संबोधित करते हुए उन्होंने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ को भी आड़े हाथों लिया।
सम्मेलन में प्रमुख रूप से सरकारी ट्रस्ट को अमान्य घोषित करने, मंदिर के लिए दिया गया सरकार का रुपया अस्वीकार करने, शिलान्यास शास्त्र विधि अनुसार करने सहित 15 प्रस्ताव पारित किए गए। समागम में निर्माणी अखाड़ा अध्यक्ष मंहत धर्मदास , अग्नि अखाड़ा सचिव मंहत नीलेशचेतन ब्रम्हचारी, अग्निपीठ से आचार्य महामंडलेश्वर रामकृष्णानंद, निरंजनी पीठाधीश्वर आचार्य महामंडलेश्वर प्रजानंद गिरी, भारत साधुसमाज महामंत्री केशवानंद महाराज एवं समस्त अखाड़ा परिषद के पदाधिकारी पहुंचे।