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आँखों के मरीजों की देखभाल होगी अब डिजिटल, AIIMS ला रहा है मोबाइल एप

कोरोना के कारण नेत्र दान और उसके ट्रांसप्लांट की गति को बड़ा झटका लगा है। ऐसे में अब मरीजों को आवश्यक इलाज के साथ साथ उसमें तेजी लाने के लिए एम्स एक एप विकसित करने जा रहा है।

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Mahima Pandey

Sep 08, 2022

AIIMS Delhi developing mobile app for eye patients; calls it 'demand of the tim

AIIMS Delhi developing mobile app for eye patients; calls it 'demand of the tim

आँखों के मरीजों को आवश्यक सहायता देने और उन्हें हॉस्पिटल के अलग अलग प्रक्रियाओं से अवगत कराने के लिए AIIMS एक बड़ा कदम उठाने जा रहा है। अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (AIIMS) एक ऐसे मोबाइल एप को विकसित करने में जुटा है जो आँखों के मरीजों के लिए मददगार साबित होगा। ये एप प्रवेश प्रक्रिया, नेत्र प्रत्यारोपण और सर्जरी के बाद के अनुवर्ती के बारे में जानकारी प्रदान करता है। जिस तरह से कोरोना ने नेत्र दान और उसके ट्रांसप्लांट में रुकावटें डाली है उसके बाद ये निर्णय आँखों के मरीजों के लिए लाभदायक साबित होगा।


एम्स के आरपी सेंटर के प्रमुख डा. जेएस तितियाल ने जानकारी दी कि इस एप के जरिए मरीज घर बैठे एम्स के आरपी सेंटर के डाक्टरों से अपना इलाज करा सकेंगे। एक तरह से डिजिटल तरीके से ही मरीज अपनी आँखों से जुड़ी परेशानियों को घर बैठे डॉक्टर से बता सकेंगे।

उन्होंने कहा, "मुझे लगता है कि ये समय की मांग है। COVID ने हमें ये भी एहसास कराया है कि आपको लोगों से अलग तरीके से संपर्क करना होगा क्योंकि कभी-कभी लोगों से सामने से मिलना मुश्किल हो सकता है। ये सुविधा सिर्फ दूर से आने वाले लोगों के लिए है।"

इस एप के जरिए कार्निया प्रत्यारोपण से जुड़ी सर्जरी के बाद मरीजों को आँखों के संक्रमण से बचाने के लिए आवश्यक जानकार मिल सकेगी। आँखों में कोई परेशानी आने पर मरीज घर बैठे ही डॉक्टर से परामर्श ले सकेंगे। एक तरह से फालोअप जांच के लिए मरीजों को बार बार एम्स के चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे।

डा. जेएस तितियाल ने जानकारी दी कि "हमारे पास एक कैमरा सिस्टम होगा जो आंख की तस्वीर ले सकता है, विशेष रूप से आंतरिक भाग, कॉर्निया की। यह तस्वीर हम नेशनल आई बैंक में देख सकते हैं, जो हर दिन 24 घंटे काम करता है और वापस रिपोर्ट करता है यदि रोगी किसी रोग से पीड़ित हैं। यदि वे हमारे पास पंजीकृत हैं, तो हम उन्हें बता सकते हैं कि उनके प्रवेश और ट्रांसप्लांट के लिए आने की समय सीमा क्या है।"


एक तरह से एम्स द्वारा विकसित किया जा रहा ये एप आँखों के मरीजों के लिए बड़ा लाभदायक साबित होने वाला है। खासकर व्यवस्क और दूर से आने वाले मरीजों को।