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अफसरों को हड़काने वाले बिहार के यूट्यूबर मनीष कश्यप पर क्यों लटकी गिरफ्तारी की तलवार, जानिए पूरी कहानी

Youtuber Manish Kashyap: बिहार का यूट्यूबर मनीष कश्यप बीते कई दिनों सुखिर्यों में है। सोशल मीडिया पर रोज मनीष कश्यप के बारे में हजारों पोस्ट हो रहे हैं। बड़ी संख्या में लोग मनीष को गिरफ्तार कर जेल भेजने की मांग कर रहे हैं तो कई लोग उस पर हो रही कार्रवाई गलत बता भी बता रहे हैं। आईए जानते क्या है पूरी कहानी?

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Bihar police searching Youtuber Manish Kashyap in Tamilnadu Fake Video Case

Youtuber Manish Kashyap: 'सन ऑफ बिहार' मनीष कश्यप.... बिहार का वो यूट्यूबर जिसके एक-एक वीडियो को लाखों-करोड़ों लोग देखते हैं। लेकिन बीते कुछ दिनों से मनीष कश्यप के सितारें गर्दिश में चल रहे हैं। बिहार पुलिस बड़ी सरगर्मी से इसे तलाश कर रही है। कहा जा रहा कि उसे पुलिस किसी भी वक्त गिरफ्तार कर सकती है। फिलहाल मनीष कश्यप पुलिस से भाग रहा है। बार-बार अपना लोकेशन बदल रहा है। सोशल मीडिया पर मौजूद अपने प्रोफाइल से कई कटेंट हटा रहा है, डिलीट कर रहा है। फिर कुछ देर बाद दूसरा प्रोफाइल बनाकर सरकार और प्रशासन को चुनौती दे रहा है। मनीष कश्यप के बारे में रोज हजारों पोस्ट हो रहे हैं। बड़ी संख्या में लोग मनीष कश्यप को गिरफ्तार कर जेल भेजने की मांग कर रहे हैं तो कई लोग उस पर हो रही कार्रवाई गलत बता भी बता रहे हैं। अपने वीडियो में बड़े-बडे़ अफसरों को हड़काने वाले मनीष कश्यप के पीछे पुलिस क्यों पड़ी है, आईए जानते हैं पूरी कहानी।


इंजीनियरिंग की पढ़ाई के बाद पत्रकारिता का सफर

मनीष कश्यप बिहार का एक यूट्यूबर पत्रकार है। Sach Tak News के नाम से यूट्यूब पर इसका चैनल है। जिसके लाखों फॉलोवर है। बिहार की छोटी-बड़ी घटनाओं और समस्याओं पर निडर रिपोर्टिंग करने से मनीष कश्यप ने अपने करियर की शुरुआत की। धीरे-धीरे लोग इसकी निडर रिपोर्टिंग के कायल होते गए और इंजीनियरिंग की पढ़ाई करने वाला मनीष कश्यप बिहार की पत्रकारिता जगत का उभरता हुआ सितारा बन गया।


कई वीडियो में अफसरों को हड़काते हुए दिखा है मनीष कश्यप


हालांकि पुलिस रिकॉर्ड में मनीष कश्यप कई आपराधिक मामलें भी दर्ज हुए। इसमें सरकारी काम में बाधा डालने के साथ-साथ पटना में कश्मीरी युवक के साथ पिटाई करने का मामला भी शामिल है। पटना में कश्मीरियों के साथ पिटाई के मामले में मनीष कश्यप को जेल भी जाना पड़ा। लेकिन जेल से आने के बाद फिर पुराने तेवर से रिपोर्टिंग करते हुए उसने लोकप्रियता हासिल की।


तमिलनाडु में बिहारियों की पिटाई से जुड़ा है मामला-


बिहार पुलिस इन दिनों मनीष कश्यप के पीछे जिस मामले में पड़ी है वह तमिलनाडु जुड़ा है। दरअसल बीते एक हफ्ते से तमिलनाडु में बिहार के लोगों के साथ मारपीट और हमलों की खबरों सामने आई। खबरों में दावा किया गया कि बिहार के लोगों को तमिलनाडु में दौड़ा-दौड़ा कर पीटा जा रहा है। उन्हें वापस जाने की बात कही जा रही है। लेकिन तमिलनाडु पुलिस ने इस खबरों को अफवाह बताया।


जांच कर वापस लौटी टीम ने बताया हमले की बात गलत-

फिर भी बिहार में बीजेपी और अन्य विपक्षी दल इस मुद्दे पर सरकार पर हमलावर रहे। ऐसे में बिहार से अधिकारियों की एक टीम तमिलनाडु भेजी गई। जो तीन दिन तक वहां रहकर स्थितियों का जायजा लेकर पटना वापस लौटी। टीम ने बताया कि तमिलनाडु में बिहारियों की पिटाई जैसी कोई बात नहीं है। फर्जी खबर और अफवाह फैला कर दो राज्यों के रिश्ते को खराब किया गया।


अफवाह फैलाया, फिर उसे सही साबित करने के लिए गलत वीडियो बनाया-


इधर बिहार पुलिस ने मामले की तह तक जाने के लिए छानबीन शुरू की। छानबीन के बाद बिहार पुलिस ने तमिलनाडु में प्रवासी श्रमिकों पर हमलों का फर्जी वीडियो बनाने के मामले में चार लोगों पर प्राथमिकी की। इन चार लोगों में से एक नाम मनीष कश्यप का है। मनीष कश्यप पर आरोप है कि उसने पहले तो फर्जी खबरे चलाई और फिर बाद में उसे सही साबित करने के लिए अपने दोस्तों के साथ पटना में भी फर्जी वीडियो शूट किया।


मुख्य आरोपी को जमुई जिले से किया गया गिरफ्तार-


पुलिस के अनुसार फर्जी वीडियो बनाने वाले मुख्य आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है। बिहार पुलिस के एक प्रवक्ता के अनुसार, दो आरोपी मनीष कश्यप और यूराज सिंह फरार हैं। पुलिस जमुई जिले के मूल निवासी आरोपी अमन कुमार को पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है। प्रवक्ता ने कहा, मुख्य आरोपी गोपालगंज जिले के मूल निवासी राकेश रंजन कुमार ने 6 मार्च को 2 व्यक्तियों की मदद से जक्कनपुर थाना अंतर्गत पटना की बंगाली कॉलोनी में किराए के मकान में फर्जी वीडियो बनाया था।

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गिरफ्तार आरोपी ने कबूल किया अपना जुर्म-


गिरफ्तार आरोपी ने अपना अपराध कबूल कर लिया है। वीडियो बनाने के पीछे बिहार और तमिलनाडु की पुलिस को गुमराह करना था। प्रवक्ता ने कहा कि हमने राकेश रंजन कुमार के मकान मालिक से भी पूछताछ की, उन्होंने भी पुष्टि की है कि वीडियो उनके घर पर बनाया गया था। उन्होंने कहा,जांच दल ने पटना में आर्थिक अपराध इकाई (ईओयू) पुलिस स्टेशन में राकेश रंजन, मनीष कश्यप, यूराज सिंह और अमन कुमार के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की है।


हमले के फर्जी वीडियो को मनीष कश्यप ने ट्वीट किया और भड़काऊ वीडियो बनाए


पुलिस ने कहा कि राकेश रंजन कुमार द्वारा बनाए गए एक वीडियो को 8 मार्च को मनीष कश्यप नाम के व्यक्ति ने ट्वीट किया था। उसने वीडियो को बीएनआर न्यूज हनी नाम के यूट्यूब चैनल पर अपलोड किया था। प्रवक्ता ने बताया, वीडियो में दो लोग किसी चीज से बंधे नजर आ रहे हैं। वीडियो संदिग्ध लग रहा था। जांच के दौरान सामने आया कि वीडियो राकेश रंजन कुमार ने बनाया था। उसे गोपालगंज से हिरासत में लेकर ईओयू थाने में पटना लाया गया। उसने अपराध कबूल कर लिया। प्रवक्ता ने विस्तार से बताया।


मनीष कश्यप के खिलाफ सात आपराधिक मामले-


पुलिस के मुताबिक मनीष कश्यप के खिलाफ सात आपराधिक मामले दर्ज हैं। वह पुलिस टीम पर हमला करने में भी शामिल था। पुलवामा की घटना के बाद, वह पटना के ल्हासा बाजार में कुछ कश्मीरी व्यापारियों की पिटाई करने में शामिल था और जेल की सजा काट चुका है। वह पूर्व में कई आपत्तिजनक सांप्रदायिक पोस्ट अपलोड करने में भी शामिल था।

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