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Drones of Pakistan and China By IIT Jammu Sound-Based Anti-Drone System : जम्मू के इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (IIT Jammu) के असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. कर्ण नाथवानी के नेतृत्व में नए किस्म का ड्रोन विरोधी उपकरण तैयार किया गया है, जो सीमा पर सुरक्षा ग्रिड को मजबूत बनाएगा। जम्मू-कश्मीर के सीमांत इलाकों में पाकिस्तान से आने वाले ड्रोन चुनौती बने हुए हैं। ड्रोन के जरिए हथियार और नशीले पदार्थ भेजने की घटनाएं बढ़ गई हैं। नए ड्रोन विरोधी उपकरण से समय पर सूचना मिलने से दुश्मनों के ड्रोन को नष्ट करने में मदद मिलेगी।
आवाज के जरिए ड्रोन का पता लगाने वाला हार्डवेयर सेटअप जमीन, इमारत, बंकर में लगाया जा सकता है। इसका दायरा तीन सौ मीटर है। इस दायरे में किसी ड्रोन के आते ही सेटअप से जानकारी मिल जाएगी। यह सिस्टम आवाज तकनीक पर आधारित है। इसमें माइक्रोफोन लगा है। कानपुर (उत्तर प्रदेश) मूल के डॉ. कर्ण नाथवानी ने बताया कि भारतीय वायुसेना के जम्मू बेस पर 2021 में ड्रोन हमले के बाद उन्होंने सोचा कि ऐसा उपकरण विकसित किया जाए, जो ड्रोन का पहले से पता लगा सके। उनके अधीन पीएचडी कर रहे एक विद्यार्थी ने यह सिस्टम बनाने में अहम भूमिका निभाई।
पेटेंट के लिए भेजा
डॉ. नाथवानी ने बताया कि ड्रोन विरोधी उपकरण को इंस्टीट्यूट ने पेटेंट के लिए भेजा है। सेना को भी यह प्रोजेक्ट भेजा गया है। आम तौर पर घने कोहरे के कारण ड्रोन का पता नहीं चल पाता, लेकिन इस सेटअप से यह भी संभव होगा। इसमें कैमरा तकनीक भी शामिल की जा रही है। इससे इसका दायरा एक किलोमीटर तक बढ़ सकता है।
सेना ने सराहा
इस सिस्टम में लगा एलईडी जलने पर पता चलेगा कि दूर से आ रही आवाज पक्षी की है या ड्रोन की। लैब में इसका परीक्षण सफल रहा है। इसे तैयार करने पर करीब चार लाख रुपए का खर्च आया। सिस्टम को सेना ने सराहा है।
Updated on:
16 Feb 2024 07:39 am
Published on:
16 Feb 2024 07:38 am
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