
सभी विपक्षी पार्टियां सत्ताधारी पार्टी बीजेपी और पीएम नरेंद्र मोदी पर गौतम अदाणी समूह को फायदा पहुंचाने का आरोप लगाती है। इस मुद्दे पर पीएम मोदी पर सबसे ज्यादा हमला कांग्रेस नेता राहुल बोलते हैं। हालांकि उनके द्वारा किए जा रहे हमले के इतर देखें तो अदाणी समूह को विपक्षी गठबंधन में शामिल अन्य दल भी अपने राज्य में स्वागत करने को तैयार रहती है। इसी बीच एक और गैर भाजपा शासित राज्य में अदाणी समूह निवेश करने जा रही है। बिहार की राजधानी पटना में आयोजित दो दिवसीय इन्वेस्टर्स समिट के दूसरे और अंतिम दिन गुरुवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 'बिहार बिजनेस कनेक्ट-2023' के 'प्लेनरी सेशन' का उद्घाटन किया।
कार्यक्रम के दौरान अदाणी ग्रुप के निदेशक प्रणव अदाणी ने अपने संबोधन में कहा, "सबसे पहले मैं इस विशाल कार्यक्रम के आयोजन के लिए बिहार सरकार को बधाई देना चाहता हूं। इस आयोजन ने अर्थव्यवस्था के सभी क्षेत्रों की प्रभावशाली हस्तियों को एक साथ लाने का काम किया है। यह बिहार के नेताओं, नीतीश कुमार, तेजस्वी यादव के अपार व्यक्तिगत आकर्षण का प्रमाण है। आप दोनों मिलकर बिहार को भारत के सबसे आकर्षक इन्वेस्टमेंट डेस्टिनेशन में बदल रहे हैं।"
नीतीश की तारीफ की
प्रणव अदाणी ने जिक्र किया कि साल 2003 में दुनिया के सबसे बड़े मुंद्रा पोर्ट के निजी रेल लिंक का उद्घाटन भी नीतीश कुमार ने किया था और निजी क्षेत्र के बंदरगाहों में रेल लिंक को बढ़ावा दिया गया था। उस वक्त भी नीतीश कुमार विकास के विषय में काफी दूर की सोच रखते थे। इतना ही नहीं, तत्कालीन केंद्रीय रेल मंत्री नीतीश कुमार ने 20 साल पहले इंटरनेट टिकट बुकिंग सिस्टम शुरू करके ट्रेन के अनुभव को पूरी तरह से बदल दिया। आज यह दुनिया की सबसे बड़ी और व्यस्त ऑनलाइन रेलवे आरक्षण प्रणाली है। इस सिस्टम की सफलता ये बताती है कि नीतीश जी कितनी दूर की बात हैं।
उन्होंने आगे कहा, "जहां तक तेजस्वी यादव जी का सवाल है तो मैं सोचता हूं कि जब वह विराट कोहली और इशांत शर्मा जैसे अपने पूर्व साथियों को एक्शन में देखते होंगे, तो उनके दिमाग में क्या चलता होगा। मेरा मानना है कि राजनीति में उनका आना, क्रिकेट के लिए नुकसानदायक रहा, लेकिन यह बिहार के लिए वरदान साबित हुआ। युवाओं को लेकर अपनी मॉडर्न और सबको साथ लेकर चलने की सोच से बिहार को काफी फायदा हो रहा है।"
बिहार में आ रहा बदलाव
प्रणव अदाणी ने आगे कहा, ''आज बिहार में आश्चर्यजनक बदलाव आ रहा है। खासकर सोशल रिफॉर्म, कानून- व्यवस्था, लिटरेसी, एजुकेशन और वुमन एम्पावरमेंट में। पब्लिक सर्विस, अदालती मामलों के निपटारे और खेती में बेहद क्रांतिकारी बदलाव आए हैं। बिहार के लोगों की रोजमर्रा की जिंदगी में यकीनन नया मोड़ आ गया है। अगर कुछ योजनाओं का जिक्र करूं तो 'साइकिल एंड यूनिफॉर्म स्कीम', जिसमें स्कूल जाने वाले बच्चों को मुफ्त साइकिल और यूनिफॉर्म दी जाती है। इसी तरह से 'जीविका योजना' से महिलाओं की आय और जीवन स्तर में काफी सुधार आया है। 'हर घर नल का जल स्कीम' से हर घर में पीने का साफ पानी पहुंच रहा है। बेरोजगार युवाओं के लिए चलाई जा रही 'मुख्यमंत्री निश्चय स्वयं सहायता भत्ता योजना' और 'बिहार रूरल लाइवलिटी हुड्स प्रोजेक्ट' जैसी योजनाएं पूरे देश के लिए नए मानक स्थापित कर रही हैं।''
10,000 लोगों को मिलेगा रोजगार
प्रणव अदाणी ने बताया कि बिहार में अदाणी समूह लॉजिस्टिक्स, गैस डिस्ट्रीब्यूशन और एग्रो-लॉजिस्टिक्स सेक्टर में मौजूद है। इसमें हमने लगभग 850 करोड़ रुपये का निवेश किया और लगभग 3,000 रोजगार के अवसर पैदा किए हैं। अब, हम अपना इन्वेस्टमेंट 10 गुना बढ़ाकर 8,700 करोड़ रुपये करने के लिए तैयार हैं। हम तीन अतिरिक्त क्षेत्रों में इन्वेस्टमेंट करेंगे और 10,000 प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रोजगार के अवसर पैदा करेंगे।
उन्होंने आगे क्या कहा, "हम अपने गोदामों को एक लाख वर्ग फुट से बढ़ाकर 65 लाख वर्ग फुट से अधिक करने के लिए 1,200 करोड़ रुपये का निवेश करेंगे। इसके लिए हम दो बड़े गोदाम बनाएंगे, जिनमें एक पटना में होगा, जिससे 2,000 लोगों को रोजगार के अवसर मिलेंगे। इसके अलावा हम छह जगहों, पूर्णिया, बेगूसराय, दरभंगा, समस्तीपुर, किशनगंज और अररिया में अपनी स्टोरेज क्षमता को 1,50,000 मीट्रिक टन से बढ़ाकर 2,75,000 मीट्रिक टन करने के लिए एग्री-लॉजिस्टिक्स में 900 करोड़ रुपये का इन्वेस्टमेंट करेंगे। इससे भी 2,000 लोगों के लिए रोजगार के अवसर पैदा होंगे।"
प्रणव अदाणी ने कहा, "बिहार में हम जिस दूसरे क्षेत्र में प्रवेश कर रहे हैं वह सीमेंट मैन्यूफैक्चरिंग है। हम दो जगहों, वारसलीगंज और महावल, में 2,500 करोड़ रुपये का निवेश करेंगे। हमारा टारगेट है सालभर में 10 मिलियन मीट्रिक टन का प्रोडक्शन। सीमेंट में हमारे इन्वेस्टमेंट से लगभग 3,000 नौकरियां पैदा होने की उम्मीद है। स्मार्ट मीटर मैन्यूफैक्चरिंग तीसरा एरिया है, जिसमें हम निवेश कर रहे हैं। अब, बिहार पारंपरिक बिजली मीटर से स्मार्ट मीटर की तरफ बढ़ रहा है। हम पांच शहरों, सीवान, सारण, गोपालगंज, वैशाली और समस्तीपुर, में बिजली खपत की निगरानी को ऑटोमैटिक करने के लिए 28 लाख से ज्यादा स्मार्ट मीटर लगाएंगे। इसके लिए हम 3,100 करोड़ रुपये का निवेश करेंगे। इससे तकरीबन 2,000 लोगों को रोजगार देने में मदद मिलेगी।"
Published on:
14 Dec 2023 08:48 pm
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