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बिल्डर और एजेंट्स पर कसेगा शिकंजा, जानिए कैसे मिलेगा बायर्स को रेरा का फायदा

हर रियल एस्टेट एजेंट को रेरा के तहत रजिस्ट्रेशन कराना अनिवार्य

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Sanjay srivastava

Jul 29, 2017

noida builders rera

noida builders rera

नोएडा।
यूपी में बुधवार को रेरा का पोर्टल शुरु होने के साथ ही गौतमबुद्धनगर के करीब 120 प्रोजेक्ट्स की लिस्ट रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया में आ चुकी है। वहीं सरकार ने कई गाइडलाइन्स भी जारी कर बिल्डर और रियल एस्टेट एजेंट्स को भी चेताया है। जिसके चलते अब हर एक रियल एस्टेट एजेंट को रेरा के तहत रजिस्ट्रेशन कराना अनिवार्य होगा। इतना ही नहीं, यदि कोई एजेंट ऐसा नहीं करता है तो उस पर दिन के हिसाब से रोजाना 10 हजार रुपये का जुर्माना लगाया जाएगा।


क्रेडाई अध्यक्ष ने कहा...



क्रेडाई (NCR) के अध्यक्ष मनोज गोड़ ने जानकारी देते हुए बताया कि रियल एस्टेट एजेंटों को फीस का भुगतान करके रजिस्ट्रेशन कराना होगा। जिसके बाद उन्हें एक रजिस्ट्रेशन नंबर दिया जाएगा। इस रजिस्ट्रेशन नंबर के आधार पर ही वह किसी भी प्रोजेक्ट में डील कर पाएंगे और यदि वह ऐसा नहीं करते तो उनपर जुर्माना लगाया जाएगा।


1 अगस्त से नहीं कर पाएंगे काम


सरकार की गाइडलाइंस के अनुसार सभी रियल एस्टेट एजेंट्स के लिए 31 जुलाई तक रेरा के तहत रजिस्ट्रेशन कराना अनिवार्य है। अगर वह ऐसा नहीं करते तो वे लोग 1 अगस्त से इस क्षेत्र में डील नहीं कर पाएंगे।


बायर के साथ धोखाधड़ी होने पर एजेंट की भी होगी जिम्मेदारी


रेरा की गाइडलाइन के मुताबिक यदि कोई बायर किसी रियल एस्टेट एजेंट के द्वारा कोई फ्लैट या प्लॉट खरीदता है और किसी स्थिति में उसके साथ कोई धोखाधड़ी होती है तो उसमें बिल्डर के साथ-साथ उस एजेंट की भी जवाबदेही रहेगी।


पजेशन देने के 5 साल तक बिल्डर की होगी जिम्मेदारी


हाल ही में बरसत के मौसम में कई सोसाइटियों के छज्जे आदि टूटने की खबरे सामने आई थीं। जिसपर वहां रहने वाले लोगों ने बिल्डर पर निर्माण कार्य में घटिया मेटेरियल इस्तेमाल करने के आरोप लगाए थे। लेकिन अब रेरा की गाइडलाइन के मुताबिक बायर्स को कब्जा देने के 5 साल तक उस फ्लैट या इमारत में किसी भी तरह की टूट-फूट की जिम्मेदारी संबंधित बिल्डर की ही होगी।


निर्माण में छेड़छाड़ पर बिल्डर की नहीं होगी जिम्मेदारी


क्रेडाई (एनसीआर) ने बताया कि यदि बिल्डिंग के किसी हिस्से में किसी तरह की टूट-फूट होती है तो उसकी जिम्मेदारी बिल्डर की होगी लेकिन अगर कोई फ्लैट बायर कब्जा लेने के बाद उसमें किसी प्रकार का निर्माण खुद कराते हैं तो उसकी जिम्मेदारी बिल्डर की नहीं होगी।


बायर्स ने ली राहत की सांस


रेरा का पोर्टल शुरु होने के साथ ही बायर्स ने कुछ राहत की सांस ली है। उन्हें उम्मीद है कि अब जल्द ही कब्जा न मिलने की समस्या का निपटारा जल्द हो सकेगा। रामकिशन नामक एक फ्लैट बायर ने बताया कि उन्होंने ग्रेटर नोएडा वेस्ट में एक फ्लैट लिया है लेकिन अभी तक उन्हें कब्जा नहीं मिला। उन्होंने कहा कि अब हमें एक आशा की किरण नजर आ रही है कि जल्द ही हमें कब्जा मिल जाएगा और साथ ही सरकार द्वारा रेरा शुरु करने से लाखों लोग धोखाधड़ी से बच पाएंगे।