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इस तरह कैलकुलेट करें अपनी ग्रैच्युटी, होगी टैक्स बड़ी बचत

ग्रेच्युटी भगुतान संशोधन विधेयक 2017 पास हाेने के बाद अब निजी क्षेत्र में नौकरी करने वालों को 20 लाख रुपए तक की ग्रैच्युटी रकम टैक्स फ्री होने वाली है

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नर्इ दिल्ली। लोकसभा में ग्रेच्युटी भगुतान संशोधन विधेयक 2017 पास हाेने के बाद अब निजी क्षेत्र में नौकरी करने वालों को 20 लाख रुपए तक की ग्रैच्युटी रकम टैक्स फ्री होने वाली है। एेसे में हम आपको आज बता रहे हैं ग्रैच्युटी से जुड़ी कुछ बातें जो आपको जानना बेहद जरुरी है।

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दरअसल ग्रैच्युटी आपकी कंपनी के तरफ से दिया जाने वाली एक रकम है, ये रकम आपको तब मिलती है जब आप किसी कंपनी में एक लंबे समय तक काम करते है। ये एक तरह से कंपनी का अापके प्रति आभार है। ग्रैच्युटी भुगतान 1972 अधिनियम के मुताबिक वो कंपनी अपने कर्मचारियाें को ग्रैच्युटी देती है जिसमें दस या उससे अधिक कर्मचारी काम करते हैं।

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आपकी कंपनी चाहे तो अपने जेब खर्च से आपको ग्रैच्युटी का भुगतान कर सकती है। कुछ कंपनियां ग्रुप ग्रैच्युटी प्लान लेती हैं तो कुछ इसके लिए इंश्योरेंस प्रीमियम भरती हैं। दो बातों पर निर्भर करता है कि आपको कितनी ग्रैच्युटी मिलेगी। पहला ये की आपने कंपनी में कितने दिनों तक काम किया है आैर दूसरा ये की आपकी अंतिम सैलरी कितनी है। इसी आधार पर एक फार्मूले से तय हाेता है कि आपके कुल कितनी रकम मिलेगी । इसमें आपके सविर्स के हर साल की अंतित सैलरी के पंद्रह दिनों के हिसाब से कैलकुलेट किया जाता है। इस सैलरी में आपका बेसिक आैर DA भी शामिल होता है। फार्मूले कुछ इस प्रकार है - 15 x लास्ट सैलरी xकितने साल तक सर्विस किया /26

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इसमें ध्यान देने वाली बात ये है कि यदि किसी साल आपने 6 माह से अधिक काम कर लिया है तो उसे पूरा एक साल माना जाएगा। इसके उलट यदि आपने 6 माह से कम काम किया है तो उसे नहीं माना जाएगा।

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माैजूदा नियमों के मुताबिक 10 लाख रुपए तक के ग्रैच्युटी पर सरकार आपसे कोर्इ टैक्स नहीं लेती। लेकिन साल 2017 में जो विधेयक पास हुआ है, उसके बाद आपको ये टैक्स छूट 20 लाख रुपए तक हो जाएगा। 20 लाख तक से अधिक मिलने वाले ग्रैच्युटी को एक्सेस-ग्रासिया माना जाएगा। जिसपर आपको टैक्स का भुगतान करना होगा। इसके पहले 10 लाख रुपए से उपर की रकम पर आपको टैक्स देना होता है।

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