25 दिसंबर 2025,

गुरुवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

भाजपा अध्यक्ष रहते अमित शाह को घंटो इंतजार करवाते थे नितिन गडकरी, सामने आया यह सच

देश में पांच राज्यों में हुए विधानसभा चुनावों में भाजपा को मिली हार को लेकर केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी काफी हमलावर है।

2 min read
Google source verification

image

Mohit sharma

Dec 26, 2018

Nitin Gadkari

भाजपा अध्यक्ष रहते अमित शाह को घंटो इंतजार करवाते थे नितिन गडकरी, सामने आया यह सच

नई दिल्ली। देश में पांच राज्यों में हुए विधानसभा चुनावों में भाजपा को मिली हार को लेकर केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी काफी हमलावर है। गडकरी ने पार्टी की हार को लेकर अप्रत्यक्ष रूप से पार्टी हाईकमान को जिम्मेदार ठहराया है। एक कार्यक्रम में बोलते ही गडकरी ने कहा कि जिस तरह से पार्टी नेतृत्व में जीत का श्रेय लेता है, उसी तरह हार की जिम्मेदारी भी उसी को उठानी चाहिए। केंद्रीय मंत्री ने अपने संबोधन में कहा था कि जीत के लिए तो अनेक बाप खड़े हो जाते हैं, लेकिन असफलता बिल्कुल अनाथ बच्चे की तरह होती है। असफलता का ठीकरा नेता एक दूसरे के सिर पर फोड़ते नजर आते हैं, जबकि ऐसा नहीं होना चाहिए। हालांकि बाद में गडकरी ने सफाई देते हुए उनके बयान को तोड़ मरोड़ कर पेश किए जाने की बात कही।

अचानक चर्चा में आए नितिन गडकरी

अपने बयानों को लेकर अचानक चर्चा में आए नितिन गडकरी से जुड़ा एक चौंकाने वाला वाकया सामने आया है। दरअसल, यह किस्सा उस समय का है जब गडकरी के पार्टी अध्यक्ष हुआ करते थे। उस समय कोर्ट के आदेश से अमित शाह गुजरात से बाहर दिल्ली में रह रहे थे। जानकारी के अनुसार जब अमित शाह तत्कालीन अध्यक्ष गडकरी से मिलने जाते थे तो उन्हें घंटो बाहर इंतजार करवाया जाता था। एक मीडिया रिपोर्ट के अनुसार उस समय शाह के बुरे दिन चल रहे थे। नितिन गडकरी महाराष्ट्र से उठकर पार्टी की कमान संभाल चुके थे। अब समय का पहिया घूमा तो तस्वीर बिल्कुल उल्टी हो गई। अमित शाह भाजपा के अध्यक्ष बन चुके हैं और गडकरी उसी पार्टी के नेता।

गडकरी महाराष्ट्र के सीएम बनना चाहते थे

विश्लेश्कों के अनुसार शाह के भाजपा अध्यक्ष बनने के बाद गडकरी महाराष्ट्र के सीएम बनना चाहते थे। लेकिन ऐसा नहीं हो पाया। इससे बड़ा झटका उनको तब लगा जब नागपुर के देवेन्द्र फड़णनवीस, जिनका कद वह अपने से काफी छोटा मानते थे को सीएम की कुर्सी थमा दी गई। इस बात से आहत गडकरी तब से मौके का इंतजार कर रहे थे कब पार्टी कमान पर निशाना साधा जाए। उन्हें लग रहा है कि यही मौका है जब मोदी-शाह पर हमला किया जा सकता है।