
हाथियों के कारण मशाल जलाकर कर रहे रतजगा
धमतरी. पहले दिन करीब 20 किमी का सफर तय करने के बाद 21 जंगली हाथियों का दल नगरी ब्लाक के ग्राम छलकनी पहुंच गया। इस बीच ग्राम आलेखुटा में हाथियों ने एक केला बाड़ी को नुकसान पहुंचाया। उधर, हाथियों की धमक के चलते रातभर ग्रामीणों ने मसाल जलाकर रतजगा किया।
उल्लेखनीय है कि गुरूवार को सुबह गरियाबंद के बारूका के रास्ते हाथियों का दल धमतरी जिले की सीमा में प्रवेश किया था। मोहेरा के जंगल में घूमते हुए जलकुंभी, राजाडेरा होते हुए पठार पहुंचा। इस बीच देर रात को हाथियों का यह दल पठार के जंगल में ही डेरा डाले रहा। शुक्रवार को अलसुबह फिर उनका काफिला आगे बढ़ गया। सुबह 8 बजे हाथियों का यह दल धीरे-धीरे बिरझुली वनक्षेत्र और केरेगांव रेंज के बीच पहुंच गया। इस बीच रात में हाथियों ने ग्राम आलेखुुंटा में एक किसान के केला बाड़ी को नुकसान पहुंचाया है। बाड़ी में लगे केला को खाने के बाद कुछ पेड़ों को गिराकर बाड़ी को नुकसान पहुंचाया। गौरतलब है कि रात के समय में हाथियों ने करीब 12 किमी का सफर तय किया। रेंजर आरएन पांडेय ने बताया कि सामान्यत: वयस्क हाथी एक दिन में करीब 40 किमी का सफर तय करते हैं। चूंकि उनके साथ 5-6 बच्चे भी है, इस वजह से ये काफी धीरे-धीरे चल रहे हैं।
चंदा से मिल रही लोकेशन
वन अधिकारियों ने बताया कि 21 हाथियों के इस दल में एक चंदा नामक हाथी हैं, जिसके गले में कॉलर आईडी बंधी है। बताया गया है कि पूर्व में वन अधिकारियों ने दक्षिण भारत से दो हाथी विशेषज्ञों को बुलाकर चंदा हाथी को कॉलर आईडी पहनाया था, तब से लेकर अब तक वन अधिकारियों की निगाह में यह हाथी दल है।
अमिताभ वाजपेयी, डीएफओ ने बताया कि हाथियों का दल मगरलोड क्षेत्र में विचरण करने के बाद शुक्रवार को नगरी सीमा में प्रवेश कर गया। छलकनी, बोदलबाहरा क्षेत्र में विचरण कर रहा है। इस बीच एक किसान के केलाबाड़ी को नुकसान पहुंचाया हैं। इसका सर्वे कर मुआवजा प्रकरण बनाया जा रहा है।
Published on:
06 Jun 2020 01:28 am
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