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CG के शूटर्स का है सपना: अब अभिनव बिंद्रा के बाद ये लगाएंगे ओलंपिक में गोल्ड पर निशाना

नेशनल और इंटरनेशनल लेवल पर प्रदेश को कर रहे रिप्रेजेंट...

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सुमित यादव @रिपोर्टर रायपुर . शूटिंग एक जुनून होता है, जिसमें पिस्टल, रायफल, आग्नेयास्त्र और एयरगन का यूज किया जाता है। शहर में कई ऐसे खिलाड़ी हैं, जो स्टेट और नेशनल लेवल पर कॉम्पिटीशन में शामिल होकर मेडल जीते हैं और प्रदेश का नाम रोशन कर रहे हैं। साथ ही कुछ एेसे भी शूटर हैं जो कठिन परिश्रम और संघर्ष कर शूटिंग के फील्ड में अपनी अलग पहचान बना ली है।

पत्रिका प्लस सिटी के एेसे निशानेबाजों से रूबरू कराने जा रहा है जो स्टेट और नेशनल लेवल कॉम्पिटीशन में मेडल लाकर प्रदेश का नाम रोशन कर रहे हैं। इसके साथ ही कुछ एेसे भी शूटर हैं जो कठिन परिश्रम और संघर्ष कर शूटिंग के फील्ड में अपनी अलग पहचान बना ली है।

अभिनव बिंद्रा से मिली प्रेरणा

पि स्टल शूटर श्रुति यादव बताती है कि जब मैं स्टडी कर रहीं थी तो टीवी में शूटिंग प्रतियोगिता देखा करती थी। इसके साथ ही जब इंटरनेशनल शूटर अभिनव बिंद्रा ने ओलम्पिक में गोल्ड मेडल लाया तो मैंने अपने जानने वाले शूटिंग कोच के माध्यम से उनसे कॉल में बात की और उनको बधाई दी। तब उन्होंने मुझसे यहीं बात कही कि आप भी यह कर सकती है। उसी दिन से प्रेरित होकर शूटिंग करना शुरू कर दिया। इसके साथ ही राजवर्धन सिंह राठौर को भी टीवी में उनका गेम देखा करती तो मेरा उत्साह और बढ़ा। शूटिंग करते हुए ४ साल पूरे हो गए है। जिसमें मंैंंने कई स्टेट लेवल चैंपियनशिप प्रतियोगिता में मेडल अपने नाम कर चुकी हूं।

पापा-मम्मी को देखकर शुरू की शूटिंग

रायफल शूटर पृथ्वी राव महाडिक बताते है उनके पेरेंट्स शूटिंग करते थे। उनको देख बचपन से ही इस फील्ड की तरफ रूझान बढ़ा और इस फील्ड में आ गया। जब मैं १० वर्ष की आयु में था तब से ही शूटिंग करना शुरू की। मैं छत्तीसगढ़ स्टेट लेवल कॉम्पिटीशन में लगातार आठ बार गोल्ड मेडल जीता है। इसके साथ ही मैं प्रदेश का पहला प्रसिद्ध शूटर बन गया हूं। नवंबर में नेशनल शूटिंग कॉम्पिटीशन दिल्ली में होने वाला है जिसके लिए तैयारी कर रहा हूं। मेरा सपना है कि शूटिंग में इंटरनेशनल लेवल पर गोल्ड मेडल लाकर पूरे विश्व में प्रदेश का नाम रोशन करूं।

अंकल को देखकर आया इस प्रोफेशन में

स् टेट लेवल शूटिंग प्लेयर यश्वंत थिटे बताते है कि मैं अपने पापा के दोस्त को शूटिंग करते देखा तो मेरे भी मन उसी दिन से शूटिंग करने के लिए काफी उत्साहित हुआ। फिर मैं धीरे-धीरे अंकल के घर जाकर पिस्टल से निशानेबाली करना शुरू कर दी। शूटिंग करते हुए मुझे चार साल पूरे हो गए है। इस दौरान मैं स्टेट में एक गोल्ड और दो सिल्वर मेडल जीत चुका हूं। मेरा सपना है कि मैं नेशनल लेवल पर मेडल लाकर प्रदेश का नाम रोशन करूं। जिसके लिए जी-तोड़ मेहनत कर रहा हूं।