20 वीं सदी के संतों में नीम करोली बाबा (Neem Karoli Baba) प्रमुख हैं। इनके देश विदेश में लाखों भक्त हैं, जिन पर भी कुछ संकट आता था, वह बाबा नीम करोली की शरण में पहुंच जाता था। उनकी महाप्रयाण के बाद भी भक्त बाबा के आश्रम में पहुंचकर अपनी पीड़ा बताते हैं और उनका समाधान पाते हैं। इस बीच भक्त उन्हें अलग-अलग नाम से पुकारते हैं। लेकिन क्या आपको पता है कि बाबा नीम करोली के कितने नाम हैं और बाबा खुद के लिए कौन सा नाम (Neem Karoli Baba Real Name) लिखते थे।
Neem Karoli Baba: नीम करोली बाबा के आठ नाम भक्तों में प्रचलित हैं। बड़ी संख्या में नीम करोली बाबा के भक्त उन्हें महाराजजी के नाम से पुकारते हैं, लेकिन नीम करोली बाबा के माता-पिता ने जन्म के बाद उनका नाम लक्ष्मी नारायण शर्मा रखा था।
लेकिन जब बाबा ने सत्य की खोज में घर छोड़ा तब उन्हें लक्ष्मण दास नाम से जाना जाने लगा। इसी नाम से रेलवे ने एक स्टेशन का नाम भी रखा है। जब गुजरात के बविनिया में उन्होंने तपस्या किया तो उन्हें तलैया बाबा कहा जाने लगा।
जब बाबा नीब करोरी (Neeb Karori) गांव में रहने लगे तो ग्रामीण उन्हें नीब करोरी बाबा कहते थे। सबसे ज्यादा भ्रम इसी नाम की स्पेलिंग को लेकर बना, जो हिंदी के नीब करोली का ही अनुवाद है। कहीं नीब (Neeb) को निब (Nib) और करोरी (Karori) को करौरी (Karauri) भी लिखा जाता है। इसमें नीब में ई (EE) गति के रूप में किया जाता है।
उल्लेखनीय है कि नीब करोरी (Neeb Karori) नाम महाराजजी ने अपने लिए स्वयं रखा था। उन्होंने कई जगहों पर इसी नाम से हस्ताक्षर किया हुआ है। यह हिंदी के नीव शब्द का ही एक रूप है, जिसका अर्थ है फाउंडेशन या आधार और करोरी हिंदी के करारी से बना है जिसका अर्थ होता है मजबूत। इसका अर्थ हुआ कि मजबूत आधार।
बाद में यही नीब करोरी (Neeb Karori), निब करोरी (Nib Karori), नीब करौरी (Neem Karauri) और नीम करोली (Neem Karoli) में बदल गया। नीम करोली नाम बाबा के पश्चिमी देशों के श्रद्धालुओं में सर्वाधिक प्रचलित है, अब भारत के भी बहुत से श्रद्धालु बाबा को इसी नाम से पुकारते हैं। यह सच है कि यह नाम बाबा की इच्छा से ही भक्तों में प्रचलित हुआ। हालांकि नीम करोली (Neem Karoli) का अर्थ एकदम से अलग है, नीम एक भारतीय पेड़ है और करोली एक भारतीय गांव।
बाबा के पश्चिमी देशों के श्रद्धालु जिन्होंने हिंदी और देवनागरी लिपि सीखी है, वो स्वीकार करते हैं कि अंग्रेजी में बाबा के नाम की स्पेलिंग नीब करोरी (Neeb Karori) होना चाहिए। कैंची धाम में रहने वाले बाबा के भक्त भी इस बात को स्वीकार करते हैं।