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कोरोना का असर : खेल परिसर ग्राउंड पर लगा ताला, राज्य खेल अकादमी के सभी खेल रद्द

युवा कल्याण विभाग ने जारी किए निर्देश, कोरोना वायरस फैलने की आशंका के चलते राज्य खेल अकादमी के सभी बोर्डिंग व डे-बोर्डिंग खिलाडि़यों का 31 मार्च तक अवकाश घोषित

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कोरोना का असर : खेल परिसर ग्राउंड पर लगा ताला, राज्य खेल अकादमी के सभी खेल रद्द

कोरोना का असर : खेल परिसर ग्राउंड पर लगा ताला, राज्य खेल अकादमी के सभी खेल रद्द

सागर. कोरोना वायरस के संक्रमण का खतरा देखते हुए शासन ने शिक्षण संस्थान और टॉकीज तो पहले ही बंद करा दिए थे, इसके बाद राज्य खेल अकादमी ने 31 मार्च तक सभी खेल भी रद्द करने के आदेश जारी कर दिए हैं। इस आदेश के साथ ही शहर के खेल परिसर ग्राउंड पर भी ताला डल गया है। खेल परिसर में सभी खेल गतिविधियों पर पाबंदी लगाते हुए यहां पर संचालित जिम को भी आगामी आदेश तक बंद कर दिया गया है। जिला खेल अधिकारी प्रदीप अबिद्रा ने बताया कि जिला स्तर के अधिकारियों को निर्देशित किया गया है कि वे खेल ग्राउंड में किसी प्रकार की गतिविधि और आयोजन न करें, इसके अलावा आमजन भी किसी प्रकार के खेलों का आयोजन नहीं कर सकेंगे।

खिलाडि़यों को भेजा अवकाश पर
खेल और युवा कल्याण के संयुक्त संचालक ने रविवार को जारी आदेश में कहा कि कोरोना वायरस व उससे जनित बीमारी के संक्रमण से बचाव के लिए सार्वजनिक स्थलों, खेल मैदानों, परिसरों में एक साथ स्थान पर खिलाडि़यों, जनता के समूहों में एकत्रित, उपस्थित होने के कारण संक्रमण फैलने का खतरा है। इसी को ध्यान में रखते हुए यह निर्णय लिया गया है। आदेश में राज्य खेल अकादमी के सभी बोर्डिंग व डे-बोर्डिंग खिलाडि़यों का अवकाश भी 31 मार्च तक घोषित कर दिया गया है।

शासकीय कोचिंग के अवकाश भी नहीं

कोरोना वायरस को लेकर देश भर में हड़कंप की स्थिति बनी हुई है, प्रदेश में भी शासन ने स्कूल-कॉलेज, टॉकीज और खेल ग्राउंड तक बंद करा दिए हैं। इस सबके बीच यह बात निकलकर सामने आ रही है कि शासन-प्रशासन ने कोचिंग संस्थानों को अब तक कोई दिशा-निर्देश जारी नहीं किए हैं। वैसे तो शासन के आदेश में सभी शिक्षण संस्थान का जिक्र किया गया है, लेकिन शहर के अधिकांश कोचिंग संस्थान इसे स्वयं के लिए जारी निर्देश नहीं मान रहे हैं और आदेश के बाद भी संस्थान में चालू हैं।

शहर में छोटे-बड़े एक सैकड़ा से ज्यादा कोचिंग संस्थान संचालित हो रहे हैं, लेकिन अधिकांश में बीते दिनों यह देखने में आया है कि वहां पर कोरोना वायरस को जारी निर्देशों का पालन नहीं हो रहा है। संस्थान बकायदा बच्चों को पढ़ाने का काम कर रहे हैं और कई जगह तो एक क्लास में एक सैकड़ा बच्चे भी एक साथ बैठ रहे हैं। यहां हैरानी वाली बात यह है कि निजी संस्थान तो उल्लंघन कर ही रहे हैं, लेकिन प्रशासन द्वारा संचालित शासकीय प्रयास कोचिंग के अवकाश होने की भी अभी तक अधिकृत सूचना किसी के पास नहीं है।