कोरोना वायरस से निबटने की तैयारी, सागर में मॉस्क और सेनेटाईजर की कोई कमी नहीं रहेगी: कलेक्टर मैथिल
सागर. कोरोना वायरस के संक्रमण से बचने के लिए फेस मास्क व सेनेटाईजर की उपलब्धता बनाए रखने प्रशासन ने तमाम इंतजाम किए हैं। इस के तहत केंद्रीय जेल में केदियों को मास्क बनाने का टास्क दिया गया है। यह मास्क 10 प्रति नग में उपलब्ध होगा। कलेक्टर प्रीति मैथिल नायक की पहल पर स्थानीय स्तर पर वृहद पैमाने पर सामग्री तैयार हो रही है। मिली जानकारी के अनुसार जिलें में 3 स्थानों पर बड़ी मात्रा में मॉस्क एवं सेनेटाईजर तैयार किए जा रहे हैं। केन्द्रीय जेल के हथकरघा केन्द्र में 55 कैदियों को मास्क निर्माण के टास्क में शामिल किया गया है। यह कैदी प्रतिदिन 1000 मास्क तैयार कर रहे हैं। मास्क का आकार 8 वाय 3 इंच का है जिससे कि मुंह और नाक को अच्छी तरह सुरक्षित रख सकते हैं। डबल लेयर के मास्क धुलाई योग्य भी है। तैयार किए मास्क को भारतीय सेना, पीडब्ल्यूडी एवं अन्य सरकारी विभाग को 10 रुपए की कीमत पर आर्पूित की जा रही है। उप जेलर नागेन्द्र चौधरी ने बताया कि जेल के हथकरघा केन्द्र में मांग के आधार मास्कों की र्पूित करने की क्षमता उपलब्ध है। राज्य ग्रामीण आजीविका मिषन के जिला समन्वय हरीश दुबे ने बताया कि हितकारी संकुल स्तरीय संगठन महिला स्व सहायता समूह देवरी में सिलाई केन्द्र की स्थापना कर लगभग 25 महिलाओं द्वारा मास्क तैयार किए जा रहे हैं। डिसलरी में बन रहा सेनेटाईजरजिला आबकारी अधिकारी वंदना पाण्डे ने बताया कि नीतेन्द्र सिंह राठौर की डीसीआर डिसलरी के माध्यम से स्थानीय स्तर पर सेनेटाईजर तैयार करवाया जा रहा है। 250 लीटर सेनेटाईजर को 5-5 लीटर की केन में रखा गया है। सीएमएचओ डॉ. एमएस सागर ने बताया कि विश्व स्वास्थ्य संगठन के द्वारा सेेनेटाईजर बनाने में निर्धारित की गई सामग्री जिसमें हाईड्रोजन परऑक्साईड, एल्कोहल, गिलिसरोल एवं डिस्टिल बॉटल के मिश्रण से तैयार कराया गया है।