पिंक कलर डे आज
सागर•Jun 23, 2019 / 03:37 pm•
manish Dubesy
Pink Color Day today
गर्ल्स के लिए परफैक्ट कलर है पिंक समृद्धि व शांति जैसे गुणों का भी संगम
सागर. गुलाबी गाल अच्छी सेहत का प्रतीक भी होते हैं। थोड़ा गहरा गुलाबी रंग खुशी का प्रतीक होता है। भारत तो रीति-रिवाजों, त्योहारों का देश है और हर रीति-रिवाज के पीछे कोई न कोई रहस्य छिपा होता है। जब नव-वधु घर आती है तो पैरों में गुलाबी रंग लगाकर (जिसे लक्ष्मी स्वरूप माना जाता है) पूरे घर में उसके पद-चिन्ह लगाए जाते हैं ताकि लक्ष्मी इन गुलाबी पद-चिन्हों की भांति सदैव घर में विराजमान रहें और गुलाब की ही तरह घर में खुशियां महकती रहें।पं. शिवप्रसाद तिवारी ने बताया कि गहरा गुलाबी रंग स्त्रीत्व तथा उत्सव को दर्शाता है। मध्यम गुलाबी कोमलता एवं स्वभाव की सरलता का प्रतीक है। यह रंग हमें सुकून देता है तथा परिवारजनों में आत्मीयता बढ़ाता है। यह रंग लगभग सभी रंगों के साथ प्रयोग किया जाता है क्योंकि यह एक शीतल रंग है।
गुलाबी रंग की खासियत- दरअसल, लगभग 100 साल पहले यह सोच शुरू हुई कि लड़कियों के लिए पिंक परेफक्ट कलर है। इससे पहले के इतिहास के मुताबिक, पिंक कलर पुरुषत्व का प्रतीक रहा है। दरअसल, जब लाल और सफेद रंग मिला है तो गुलाबी रंग बनता है। लाल रंग हमेशा शक्ति और ताकत का प्रतीक है, वहीं सफेद रंग सुख समृद्धि और शांति का प्रतीक है। इसका अर्थ पिंक कलर शक्ति, ताकत, सुख, समृद्धि जैसे गुणों का संगम है।
कैसे पुरुषों का गुलाबी रंग बना महिलाओं के लिए?
पिंक कलर लड़कियों के लिए बना है इसके पीछे कहीं नहीं युद्धों का प्रभाव है। प्रथम विश्वयुद्ध के समय कई नए रोजगार बने थे। जिनमें नर्स , वेटर, सेक्रेटरी और टायपिस्ट जैसी नौकरियां शामिल थी। मगर यह नौकरियां व्हाइट कॉलर जॉब्स व ब्लू कॉलर का भी दर्जा भी नहीं मिल पाया। फिर इन नौकरियों को पिंक कॉलर जॉब्स का दर्जा दिया गया जिसकी खासियत थी कि इसमें तरक्की की एक तय सीमा थी। इसीलिए इसे महिला प्रधान माना गया। तभी से गुलाबी रंग महिलाओं के लिए तय कर दिया दया।
बस यहीं से पुरुष पिंक से दूर होने लगे। फिर धीरे-धीरे लड़कियों के लिए पिंक और लड़कों के लिए ब्लू कर निर्धारित कर दिया गया।