
शुद्ध पूजन सामग्रियों का उपयोग किया जाना चाहिए।
Pandit Mishra demand for ban on worship material outside the temple - अंतरराष्ट्रीय कथावाचक पंडित प्रदीप मिश्रा ने मंगलवार को सीहोर में होली मनाई। यहां सालों से चली आ रही नवाबी होली की परंपरा को उन्होंने खत्म कर दिया है। नवाबी होली के स्थान पर उन्होंने दो साल पहले महादेव की होली प्रारंभ की। धुलेंडी के दूसरे दिन महादेव की होली में शामिल होने देशभर से उनके अनुयायी सीहोर आए।
इस मौके पर पंडित प्रदीप मिश्रा Pandit Pradeep Mishra ने पत्रकारों से बातचीत की और महाकाल में हुई आगजनी पर चिंता व्यक्त की। इसके साथ ही पंडित मिश्रा ने मंदिर में बाहर से आनेवाली पूजन सामग्रियों का भी विरोध किया। उन्होंने मंदिरों की पवित्रता की दुहाई देते हुए कहा कि पूजा सामग्री पूरी तरह शुद्ध होनी चाहिए।
पंडित प्रदीप मिश्रा की महादेव की होली (Mahadev ki Holi) के कारण सीहोर में जबर्दस्त गहमागहमी रही। मीडिया से मुखातिब पंडित प्रदीप मिश्रा ने उज्जैन Ujjain के महाकाल मंदिर (Mahakal Mandir ) में हुई आगजनी पर चिंता व्यक्त की। उन्होंने कहा कि केमिकल रंग (Chemical Colors) की वजह से यह घटना घटी।
पंडित प्रदीप मिश्रा ने प्रदेश के सभी महत्वपूर्ण मंदिरों में अच्छी पूजा सामग्री का उपयोग सुनिश्चित करने की भी बात कही। उन्होंने कहा कि सस्ती बाजारु वस्तुओं की बजाए पुरानी और शुद्ध पूजन सामग्रियों का उपयोग किया जाना चाहिए।
उन्होंने मंदिर की पवित्रता के लिए बाहर की पूजन सामग्रियों को प्रतिबंधित करने की भी बात कही। पंडित मिश्रा ने साफ शब्दों में कहा— बाजार की पूजा सामग्रियों का इस्तेमाल प्रदेशभर के मंदिरों में वर्जित किया जाना चाहिए।
पंडित मिश्रा ने इस बार की होली को विशेष बताया। उन्होंने अयोध्या में श्री रामलला की प्राण प्रतिष्ठा का उल्लेख करते हुए कहा कि केवल अयोध्या ही नहीं बल्कि काशी और मथुरा में भी मंदिरों को लेकर खास काम चल रहा है।इन सबने इस बार की होली को बहुत खास बना दिया है।
Published on:
26 Mar 2024 07:28 pm
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