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सीहोर

बारिश ने खोली सड़कों की पोल, कीचड़ के कारण राहगीरों को पैदल चलना मुश्किल

सड़क निर्माण को लेकर पार्षद कर चुके हैं धरना, ड्रेनेज लाइन डालने के वाली कंपनी ने नहीं की सड़कों की मरम्मत

सीहोरJun 09, 2020 / 11:39 am

वीरेंद्र शिल्पी

Councilors have done sit-in for road construction, the company which laid the drainage line did not repair the roads

समस्या: बारिश ने खोली सड़कों की पोल

सीहोर/नसरुल्लागंज. नगर की सड़कों की हालत इस समय बद से बदत्तर नजर आ रही है। बारिश ने सड़कों की पोल खोलकर रख दी है। सड़क पर कीचड़ के कारण राहगीरों को पैदल चलना मुश्किल हो गया है। दो वर्ष पूर्व सड़क निर्माण की मांग को लेकर वार्ड-14 के तत्कालीन पार्षद धरना प्रदर्शन भी कर चुके हैं। इसके बावजूद भी नगर परिषद द्वारा इस ओर गंभीरता से ध्यान नहीं दिया जा रहा है।

नगर की पास कॉलोनी कही जाने वाली शास्त्री कॉलोनी सहित नगर की सड़कें पूर्व में हुई बारिश और रविवार को हुई बारिश के बाद कीचड़ में तब्दील हो चुकी है, जिन पर राहगीरों का पैदल चलना मुश्किल हो गया है। यह कॉलोनी नगर के पास कॉलोनी मानी जाती है जिसमें कांग्रेस और बीजेपी के बड़े राजनेता, सरकारी कर्मचारी, अधिकारी वकील व्यवसाई निवास करते हैं। इस कॉलोनी में छोटे-बड़े छह स्कूल और कई कोचिंग संस्थाएं संचालित होती हैं जिनमें हजारों बच्चे पढऩे आते हैं। ऐसी शास्त्र कॉलोनी अपनी दुर्दशा पर आंसू बहा रही है।

सड़क निर्माण के अभाव में बारिश के दौरान चार माह यहां के बाशिंदों को कीचड़ और पानी के बीच रहना पड़ता है। रहवासियों का कहना है कि ड्रेनेज लाइन डालने वाली कंपनी द्वारा लाइन डाले जाने के पश्चात खोजी गई नाली का सीमेंट कांक्रीट नहीं किया गया था। जिसके चलते बारिश होते ही सड़कें कीचड़ में तब्दील हो चुकी हैं, जिन पर दो पहिया वाहन चालक आए दिन दुर्घटना का शिकार हो रहे हैं।

पार्षद दे चुके हैं धरना
वार्ड क्रमांक-14 के पार्षद सोनू पटेल द्वारा शास्त्री कॉलोनी में छह स्थानों पर सड़क निर्माण किए जाने की मांग की गई थी। मांग पूरी नहीं होने पर गुस्साए पार्षद ने वार्ड के लोगों के साथ दो वर्ष पूर्व नगर पंचायत के मुख्य द्वार पर 48 घंटे का धरना दिया था। उस दौरान तत्कालीन नगर पंचायत अध्यक्ष अनीता लखेरा एवं तत्कालीन मुख्य नगरपालिका द्वारा शीघ्र ही सड़क निर्माण कराए जाने का आश्वासन दिए जाने के बाद पार्षद ने धरना समाप्त किया था। उसके बाद भी दो वर्ष बीत चुके हैं। उस दौरान नपं द्वारा सड़क निर्माण के लिए कोई सार्थक प्रयास नहीं किए गए। नपं में कुछ सड़क के लिए टेंडर निकाले जिनके कार्य आदेश अभी तक नहीं हुए इसके कारण यहां के रहवासियों को कीचड़ का सामना करना पड़ता है।

लापरवाही के चलते बिगड़ी सड़कों की सूरत
नगर में लगभग 32 करोड रुपए की लागत से सीवरेज लाइन डालने जाने का काम चल रहा है, काम की धीमी चाल का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि 18 महीने में पूर्ण किए जाने वाले काम को प्रारंभ हुए लगभग 16 महीने बीत चुके हैं। कंपनी के द्वारा 50 प्रतिशत काम भी पूर्ण नहीं किया गया है। निर्माण कंपनी की लापरवाही का खामियाजा नगरवासियों को भुगतना पड़ रहा है। सड़कों मरम्मत नहीं किए जाने के कारण प्री-मानसून की हुई बारिश के दौरान ही सड़कों की हालत बदत्तर हो चुकी है।

ग्रामीण कच्चे रास्ते से कर रहे सफर
जावर. विकास शब्द कहने में तो अच्छा लगता है, लेकिन जब तक यह वास्तविक रूप से धरातल पर नहीं आएगा तब तक ग्रामीण समस्या से जूझते रहेंगे। ऐसा ही कुछ जावर तहसील के भानाखेड़ी में हुआ है। अफसर और जनप्रतिनिधियों ने लोगों को सुविधा उपलब्ध कराने बड़े विकास के दावे किए जो आज तक मूर्त रूप नहीं ले पाएं हैं। इससे उनको हर दिन कच्चे उबड़ खाबड़ रास्ते से आवाजाही कर परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।

 

भानाखेड़ी गांव में शासकीय हाई स्कूल तक जाने ठीक से रास्ता नहीं है। जो रास्ता है उसकी हालत क्या है उसका अंदाजा इससे ही लगाया जा सकता है कि लोगों को पैदल चलने में भी मशक्त करना पड़ रही है। पिछले दिनों हुई बारिश से इस रास्ते पर कीचड़ फैल गया हैए जिससे लोगों की परेशानी बड़ गई है। जबकि इस रास्ते से छात्र-छात्रा भी आवाजाही करते हैं। ऐसे में कुछ दिन बाद स्कूल खुलते ही फिर से उनको परेशानी का सामना करना पड़ेगा।

नगर जहां भी सड़कों की हालत खराब है, वहां मरम्मत कराई जाएगी। साथ ही सीवरेज निर्माण एजेंसी से कांक्रीट का कार्य शीघ्र कराया जाएगा।
प्रहलाद मालवीय, सीएमओ, नगर परिषद नसरुल्लागंज

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