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मध्यप्रदेश के इस जेल में कैदी ज्यादा, जगह कम, हो सकती है बड़ी दिक्कत

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In this jail of Madhya Pradesh, prisoner is more, place is less

शहडोल- संभाग के शहडोल जेल में अब बंदियों के लिए जगह कम पड़ रही है। शहडोल जेल की क्षमता 220 बंदियों की है। जहां पर 588 बंदियों को रखा गया है। जिला जेल के वार्ड बंदियों से ठसाठस भरे हुए हैं। हर दिन नया बंदी जेल में भर्ती हो रहा है लेकिन जेल के क्षेत्रफल में विस्तार नहीं किया जा रहा है। स्थिति यह है कि अलग - अलग वार्डो में बंदियों को एक साथ रखना पड़ रहा है। उधर जेल प्रबंधन की भी मजबूरी बन रही है।

जेल में जगह कम होने के कारण सबसे ज्यादा परेशानियां बंदियों को हो रही है। गर्मी के चलते जहां संक्रमण बीमारियों का खतरा है। वहीं दूसरी ओर सुविधाओं में भी कमी हो रही है। ऐसा भी नहीं है कि जेल में निर्धारित क्षमता से दोगुने बंदियों की जानकारी बड़े अफसरों को न हो। हाल ही में एडीजी जेल ने भी निरीक्षण किया था। जहां पर यह बात सामने आई थी। इसके अलावा शहडोल जेल प्रबंधन लगातार पत्राचार भी कर रहा है लेकिन अब तक दूसरे जेलों में बंदियों को शिफ्ट नहीं किया है।

शहडोल जेल में अनूपपुर के भी अपराधी

शहडोल में अनूपपुर जिले के भी अपराधी सजा काट रहे हैं। अनूपपुर में जेल की बिल्डिंग तो तैयार हो गई है लेकिन अब तक शुरूआत नहीं की गई है। विभागीय जानकारी के अनुसार अनूपपुर के 260 से ज्यादा अपराधी बंद हैं लेकिन अब तक शिफ्ट नहीं किया गया है। इससे वार्ड बंदियों से खचाखच है।

अनूपपुर में शिफ्ट करें तो मिलेगी जगह

अनूपपुर जेल बनकर तैयार है। जेल में अधिकारियों की पदस्थापना भी हो गई है। हाईकमान ने जेल खोलने के आदेश पर मुहर भी लगा दी है। इसी माह जेल खुलना संभावित है। अनूपपुर के 265 बंदी सजा काट रहे हैं। अनूपपुर जेल खुलते ही अगर बंदियों को शिफ्ट किया जाता है तो काफी जगह मिल जाएगी। कैदियों को शिफ्ट करने की प्लानिंग चल रही है। जल्द ही कैदियों को अनूपपुर जेल में शिफ्ट कर दिया जाएगा।

बंदियों के लिए बाहर भी कम पड़ रही जगह

जिला जेल परिसर भी बंदियों के लिए कम पड़ रहा है। निर्धारित क्षमता के अनुसार बंदी होने से जेल प्रबंधन जेल के भीतर काम भी करा लेता था और नियमित योगा और अन्य क्लास संचालित कराने के अलावा खेल और अन्य गतिविधियां भी होती थीं लेकिन दोगुने से ज्यादा बंदी होने से अब परिसर भी छोटा पड़ रहा है। एकाएक बंदियों को वार्ड से बाहर करने पर सुरक्षा को लेकर भी खतरा है। इसके मद्देनजर मजबूरन जेल प्रबंधन द्वारा रोस्टर तैयार करके बंदियों को बाहर निकालना पड़ता है।

जेल प्रबंधन को यह दिक्कतें

- क्षमता से दोगुने से ज्यादा बंदियों की वजह से जेल प्रबंधन बंदियों से बाहर काम नहीं करा पा रहे हैं।
- अनूपपुर के बंदी शहडोल में होने से पेशी में लाने ले जाने में काफी बल और व्यय होता है।
- बंदी ज्यादा होने से बंदियों को सुविधाओं में भी कमी हो रही है।
- गर्मी में बीमारियों से ग्रसित हो रहे हैं और वार्डो में ठसाठस भरे हुए हैं।

जेल की स्थिति
क्षमता- 220
वार्ड - 14
अपराधी - 588
पुरूष- 552
महिलाएं - 36

जिला में क्षमता से ज्यादा बंदी

जेल अधीक्षक जेएल नेटी का भी यही कहना है कि जिला जेल में क्षमता से ज्यादा बंदी हैं, अनूपपुर जेल शुरू हो रही है, जल्द शिफ्ट किया जाएगा।