
अलवर-मथुरा रेलखंड में ट्रेनों की भारी कमी के पीछे मेंटिनेंस के अभाव का हवाला दिया गया है। भविष्य में अलवर-दिल्ली वाया फिरोजपुर झिरका नई रेल लाइन के प्रोजेक्ट के धरातल पर आने पर मेंटिनेंस क्षमता की आवश्यकता व अतिरिक्त यात्रीभार को देखते हुए वनमंत्री संजय शर्मा ने रेलमंत्री को पत्र लिखकर उपनगरीय स्टेशन व वॉशिंग और पिट लाइन के निर्माण की मांग की है।
उन्होंने लिखा है कि अलवर जंक्शन पर जगह कम है, जिसके कारण ट्रेनों को महवा या अन्य नजदीकी स्टेशन पर रोकना पड़ता है। अलवर शहर की 5 लाख से ज्यादा आबादी है। आस-पास के स्टेशनों से भी लोग मथुरा, दिल्ली और जयपुर के लिए ट्रेन बदलते हैं, जिससे जंक्शन पर अतिरिक्त यात्रीभार आता है।
यहां कथावाचकों के भी कार्यक्रमों में बड़ी सांख्य में लोग पहुंचते हैं। प्रतियोगी परीक्षाओं के केंद्र होने के कारण भी यात्रीभार बढ़ता है, इसलिए अलवर में उपनगरीय स्टेशन का निर्माण जरूरी है। यह अपना घर शालीमार के पास बनाया जाना चाहिए, जिससे यहां की 50 हजार आबादी और नजदीकी कालोनियों के लोगों को अलवर जंक्शन न जाना पड़े और मथुरा-रेवाड़ी के बीच ट्रेन बिना रिवर्सल चलाई जा सकें।
उन्होंने लिखा कि वाशिंग व पिट लाइन का निर्माण भी जरूरी है। जोधपुर मण्डल में जोधपुर, भगत की कोठी, बाड़मेर में यह सुविधा है। बीकानेर मण्डल में बीकानेर, लालगढ़, श्रीगंगानगर और हिसार के साथ ही हनुमानगढ़ में नई वाशिंग लाइन बनाए का प्लान है। लेकिन जयपुर मण्डल में सिर्फ जयपुर में रख-रखाव की सुविधा है। यह सुविधा मिले तो यहां से ट्रेन ओरिजिनेट और टर्मिनेट हो सकें। अलवर शहर देश और राज्य की राजधानी के बीच में है।
पत्र में वन मंत्री ने मथुरा से कोटा वाया अलवर-बांदीकुई-दौसा-गंगापुर सिटी दैनिक रेल सेवा के संचालन की मांग की है। कोटा में पढ़ने वाले विद्यार्थियों और उनके अभिभावकों के आवागमन के लिए कोटा की ट्रेन की मांग की है। वर्तमान में इनको ट्रेन बदलनी पड़ती है, जिससे समय और धन का व्यय होता है।
वहीं,अलवर-मथुरा रेलखंड होकर चल रही 12403/04 लालगढ़-प्रयागराज ट्रेन में यात्रीभार अधिक है, जिसके कारण गोवर्धन एवं मथुरा /वृन्दावन जाने वाले श्रद्धालुओं की खातिर मथुरा-कोटा वाया गोवर्धन-अलवर-बांदीकुई-दौसा दैनिक ट्रेन संचालन की मांग की है।
Published on:
17 Mar 2025 11:53 am
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