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बैंको के रवैये से सूरत के उद्यमियों की नींद उड़ी

एलओयू बंद होने से उद्यमियों पर संकटसूरत में आयात-निर्यात से जुड़े व्यापारियों को लेना पड़ेगा महंगा कर्ज

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प्रदीप मिश्रा
सूरत.

पंजाब नेशनल बैंक के महाघोटाले के बाद रिजर्व बैंक की ओर से बैंकों के लेटर ऑफ अंडरटेकिंग (एलओयू) देने पर रोक लगा देने से सूरत के हीरा और कपड़ा उद्यमियों पर नया संकट छा गया है। जिन उद्यमियों ने एलओयू के भरोसे सौदे कर रखे थे, उन्हें अब महंगी दर पर कर्ज लेना पड़ेगा या सौदे रद्द करने पड़ेंगे।
हीरा कारोबारी नीरव मोदी ने विदेश में रफ हीरों और गोल्ड की खरीद के बाद पेमेंट के लिए पंजाब नेशनल बैंक से लेटर ऑफ अंडरटेकिंग लिए थे। बाद में उसने पेमेंट नहीं कर धोखाधड़ी की। सूरत में कई कपड़ा और हीरा कारोबारियों का कारोबार विदेश से जुड़ा है। वह विदेश से हीरा, गोल्ड, मशीनरी, यार्न और अन्य कई वस्तुएं आयात करते हैं। विदेश में पेमेंट के लिए वह भारतीय बैंकों से एलओयू ले लेते थे। एलओयू पर उन्हें लगभग डेढ़ प्रतिशत ब्याज के हिसाब से पेमेंट चुकाना होता था, जबकि यही कर्ज सामान्य टर्म में साढ़े नौ प्रतिशत ब्याज पर मिलता है। सूरत के कई उद्यमियों ने एलओयू के भरोसे विदेश से मशीनरी आदि इम्पोर्ट करने के सौदे कर रखे हैं। आरबीआइ के फैसले के बाद उन्हें पेमेंट के लिए दूसरा जुगाड़ लगाना पड़ेगा या कुछ समय के लिए ऑर्डर रद्द करने पड़ेंगे। व्यापारियों को नए सौदों के लिए बड़ी रकम रोकनी पड़ेगी। इससे उनकी कार्यशील पूंजी भी फंसेगी।

व्यापार को झटका
सूरत में कई उद्यमी आयात-निर्यात से जुड़ा कारोबार करते हैं। बैंकों से लेटर ऑफ अंडरटेकिंग लेकर वह कम ब्याज दर पर विदेश से वस्तुएं आयात कर सकते थे। उद्यमी के लिए एलओयू एक तरह से बैंक की ओर से दिया गया भरोसा है। यह बंद होने से व्यापार को झटका लगेगा।
संजय सरावगी, उद्यमी

जुगाड़ करना होगा
एलओयू बंद होने से व्यापार पर असर पड़ेगा। उद्यमियों को विदेश में पेमेंट के लिए जुगाड़ करना पड़ेगा। इससे कई लोगों को दिक्कत आएगी।
नारायण अग्रवाल, प्रमुख, सिंथेटिक रेयान टैक्सटाइल एक्सपोर्ट प्रमोशन काउंसिल

असर पड़ेगा
एलओयू के माध्यम से व्यापार करने वाले हीरा उद्यमी कम हैं। जो उद्यमी बैंकों से एलओयू लेकर व्यापार कर रहे हैं, उनका व्यापार बुरी तरह प्रभावित होगा।
दिनेश नावडिय़ा, रीजनल प्रमुख, जैम्स एंड ज्वैवलरी एक्सपोर्ट प्रमोशन काउंसिल