
देव-दिवाली पर जगमग शिवालय
सूरत.
कार्तिक शुक्ल एकादशी पर शुक्रवार को देवउठनी एकादशी का पर्व सूरत समेत दक्षिण गुजरात में हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। इस अवसर पर श्रद्धालुओं ने गोवर्धन विदाई, तुलसी-शालिग्राम विवाह, अंबे मां के चरण दर्शन और वैवाहिक आयोजनों में भाग लिया। इस मौके पर अंबाजी मंदिर, कंतारेश्वर महादेव मंदिर समेत अन्य देवालयों में श्रद्धालुओं की भारी भीड़ मौजूद रही। वहीं, शहरवासियों ने देव-दिवाली का पर्व हर्षोल्लास के साथ मनाया।
पौराणिक मान्यता के मुताबिक आषाढ़ शुक्ल एकादशी के मौके पर देव चौमासे (वर्षाकाल) के चार माह के दौरान शयन की अवस्था में रहते हैं और इस दौरान शुभ कार्य बाधित रहते हैं। इन पर लगी रोक कार्तिक शुक्ल एकादशी को देवोत्थान एकादशी से हटती है। इसी क्रम में शुक्रवार को देवउठनी एकादशी धूमधाम से मनाई गई। एकादशी के अवसर पर शहर सहित आसपास के इलाके में सुबह से ही मंदिरों में विभिन्न कार्यक्रमों के आयोजन किए गए। इसमें बड़ी संख्या में श्रद्धालु शामिल हुए। इसके अलावा श्रद्धालुओं ने तुलसी विवाह के कार्यक्रम भी देवउठनी एकादशी के मौके पर आयोजित किए। इस दौरान श्रद्धालुओं ने धार्मिक कार्यक्रमों में बढ़-चढक़र भाग लिया वहीं, मंदिरों में भी सुबह से देर रात तक भीड़ जमा रही।
चरण दर्शन के लिए उमड़े
देवउठनी एकादशी के अवसर पर शुक्रवार को शहर के अंबिकानिकेतन में अंबाजी मंदिर एवं बालाजी रोड स्थित जुना अंबाजी मंदिर में सुबह से ही माता के चरण कमल के दर्शन करने के लिए भक्तों की भीड़ जुटी। मंदिर में माता के चरणकमल के दर्शन करने का अवसर भक्तों को वर्षभर में कुछ खास मौकों पर ही मिलता है। देवउठनी एकादशी शुक्रवार को मां अंबे के चरणकमल के दर्शन कर शुभाषीश मांगने बड़ी संख्या में श्रद्धालु मौजूद रहे।
देव-दिवाली पर जगमग शिवालय
दीपावली के ग्याहरवे दिन देवउठनी एकादशी के मौके पर शुक्रवार को स्थानीय लोगों ने देव-दिवाली का त्योहार मनाया। इस अवसर पर शहर के कतारगांव इलाके में कंतारेश्वर महादेव मंदिर को आकर्षक तरीके से सजाया गया। सम्पूर्ण मंदिर परिसर में देव-दिवाली पर्व पर हजारों दीप झिलमिलाते रहे। दीयों की रोशनी से जगमगाते कतंारेश्वर महादेव मंदिर में शाम से ही भक्तों का तांता लगा रहा। वहीं, शहर में जगह-जगह आतिशबाजी के नजारे भी देखने को मिले।
यात्रा में गूंजे भजन
कार्तिक शुक्ल एकादशी के मौके पर शुक्रवार सुबह सिटीलाइट के प्रेमप्रकाश आश्रम ट्रस्ट की ओर से कीर्तन पदयात्रा का आयोजन स्वामी ब्रह्मानंद शास्त्री के सानिध्य में किया गया। यात्रा में शामिल श्रद्धालु हरि संकीर्तन करते हुए आश्रम से रवाना हुए और बाद में सिटीलाइट क्षेत्र में भ्रमण के बाद वापस प्रेमप्रकाश आश्रम पहुंचे। यहां पर स्वामी ब्रह्मानंद शास्त्री ने कार्तिक मास का धार्मिक महत्व बताया और कार्तिक स्नान, यात्रा आदि की विस्तार से जानकारी दी।
निकली बारात, हुआ विवाह
देवउठनी एकादशी के मौके पर शुक्रवार को वेसू के नंदनवन-1 में तुलसी विवाह का विशेष आयोजन किया गया। सोसायटी परिसर में तुलसी विवाह के विशेष आयोजन में रात्रि में नंदनवन-1 के सी टावर से बाजे-गाजे के साथ भगवान की बारात निकली और बाद में सोसायटी के क्लब हाउस में धूमधाम से तुलसी विवाह का आयोजन हुआ। इस मौके पर 51 दीपक से दीपदान, भजन, प्रसाद आदि के आयोजन भी सोसायटी की ओर से किए गए।
Published on:
08 Nov 2019 09:15 pm
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