सूरत. शहर का परवत पाटिया क्षेत्र ऐसे क्षेत्र में शुमार हैं, जहां मानसून की दस्तक यहां के निवासियों की सांसें फुला देती हैं। क्योंकि हर साल मानसून में यहां के लोगों को बाढ़ जैसे हालात का सामना करना पड़ता है। क्षेत्र से गुजरने वाली खाड़ी का पानी सोसायटी-गली मोहल्लों से लेकर सड़कों पर फैल जाता है। जलभराव की यह स्थिति मानसून के दौरान बार-बार देखने को मिलती है। मनपा प्रशासन की ओर से हर बार प्री-मानसून कार्रवाई का दावा किया जाता है, लेकिन बारिश शुरू होने के साथ यह दावे खोखले साबित होते हैं। खाड़ी बाढ़ से क्षेत्र को बचाने के लिए बीते वर्ष मनपा ने करोड़ों रुपए खर्च कर यहां की खाड़ी पर पुराना ब्रिज तोड़कर नया बनाया, तब कहा गया था कि अब यहां की समस्या हल हो जाएगी, लेकिन मौसम की पहली बारिश से पैदा हुए हालात को देखते हुए करोड़ों रुपए पानी में बह गए, ऐसी अनुभूति यहां की जनता कर रही है। तस्वीर में गुरुवार को भारी बारिश के कारण खाड़ी का पानी सोसायटियों से लेकर सड़कों तक भरने के बाद का नजारा। फोटो- मुकेश त्रिवेदी।