
Sajjangargh Biological park
उदयपुर के सज्जनगढ़ जैविक उद्यान में नए साल में नया आकर्षण जुड़ने जा रहा है। यह प्रदेश का पहला जैविक उद्यान होगा, जहां जिराफ देखने को मिलेंगे।
उदयपुर विकास प्राधिकरण (यूडीए) की ओर से जिराफ एनक्लोजर निर्माण के लिए वन विभाग को दो करोड़ की राशि उपलब्ध कराई है। विभाग ने मुंबई से जिराफ विशेषज्ञ तुषार कुलकर्णी को बुलाकर एनक्लोजर के डिजाइन को अंतिम रूप दे दिया है। माना जा रहा है कि इसी माह एनक्लोजर निर्माण के लिए निविदा प्रक्रिया पूर्ण कर ली जाएगी और मार्च 2025 तक कार्य पूरा कर इसका उद्घाटन करवा लिया जाएगा।
सज्जनगढ़ जैविक उद्यान में गेट नंबर तीन के पास 76 हजार 611 वर्ग फीट में जिराफ एनक्लोजर का निर्माण होगा। जिसमें 61 हजार 547 वर्ग फीट (डिस्प्ले एरिया ) में दर्शक जिराफ को जोड़े को घूमता हुआ देख सकेंगे। जबकि 15 हजार 64 वर्ग फीट में इसके आवास (होल्डिंग एरिया) का निर्माण कराया जाएगा। होल्डिंग एरिया को हीटर आदि लगाकर सर्दियों में जिराफ के अनुकूल वातावरण अनुसार तैयार किया जाएगा। जिराफ को देखने के लिए बनाया जाने वाला डिस्प्ले ऊंचाई पर होगा। ताकि पर्यटक आसानी से देख सकेंगे।
जिराफ एनक्लोजर के लिए मैसूर से एनिमल एक्सचेंज प्रोग्राम के तहत जिराफ का जोड़ा लाया जाएगा। भविष्य में इनकी ब्रीडिंग से यहां जिराफ की आबादी को बढ़ाए जाने की योजना है। मुंबई निवासी जिराफ विशेषज्ञ तुषार कुलकर्णी पिछले तीन दिन से उदयपुर के सज्जनगढ़ जैविक उद्यान में बनने वाले जिराफ एनक्लोजर के प्लान को अंतिम रूप देने में जुटे हुए हैं। उन्होंने बताया कि जिराफ मूलत: अफ्रीकी रेगिस्तान का जीव है। जिसकी ऊंचाई लगभग 16-17 फीट करीब और वजन लगभग 1200 किलोग्राम होता है।
जिराफ विशेषज्ञ कुलकर्णी के अनुसार फिलहाल देश के चुनिंदा चिडि़याघरों में ही जिराफ देखने को मिलते हैं। पटना, मैसूर, गुवाहाटी, हैदराबाद, चैन्नई, कोलकाता और विशाखा पट्टनम में अभी जिराफ है। भले ही यह गर्म वातावरण का जीव है, लेकिन विश्व में अमरीका व यूरोप के कई चिडि़याघरों में इसके अनुकूल वातावरण तैयार कर इसे रखा गया है। भारत से जिराफ का रिश्ता सदियों पुराना है। बताया जाता है कि सदियों पहले यहां ब्रह्मोथेरियम व शिवोथेरियम के रूप में जिराफ प्रजाति की मौजूदगी रही है।
सज्जनगढ़ जैविक उद्यान में पर्यटकों के लिए आकर्षण और सुविधाएं बढ़ाई जा रही है। जल्द ही लॉयन सफारी और रेप्टाइल हाउस का उद्घाटन होगा। इसके साथ ही जिराफ एनक्लोजर का शिलान्यास भी प्रस्तावित है। एक्सपर्ट की सलाह अनुसार जिराफ एनक्लोजर की डिजाइन तैयार करवाई जा रही है। उम्मीद है मार्च 2025 में पर्यटकों को उदयपुर में जिराफ देखने को मिलेंगे।
- देवेंद्र कुमार तिवारी, उपवन संरक्षक (वन्यजीव)
Published on:
11 Nov 2024 10:57 am
बड़ी खबरें
View Allउदयपुर
राजस्थान न्यूज़
ट्रेंडिंग
