
Naim Qassem and Benjamin Netanyahu
पिछले साल 7 अक्टूबर से इज़रायल (Israel) और फिलिस्तीनी आतंकी संगठन हमास (Hamas) के बीच जंग शुरू हुई थी। उसके बाद से लेबनान (Lebanon) के आतंकी संगठन हिज़बुल्लाह (Hezbollah) ने भी हमास की मदद के लिए इज़रायल पर हमले शुरू कर दिए, जिसके जवाब में इज़रायली सेना ने भी हिज़बुल्लाह के खिलाफ कार्रवाई शुरू कर दी। समय-समय पर दोनों पक्ष एक-दूसरे पर हमला करते रहे, लेकिन इस साल 17-18 सितंबर को इज़रायल ने लेबनान के खिलाफ पेजर अटैक के साथ ही कुछ अन्य इलेक्ट्रॉनिक डिवाइसेज़ के ज़रिए हमला किया। इसके बाद से ही इज़रायल ने हिज़बुल्लाह के खिलाफ अपनी सैन्य कार्रवाई तेज़ कर दी, जिसमें अब तक लंबे समय से हिज़बुल्लाह के चीफ हसन नसरल्लाह (Hassan Nasrallah), 2 नए चीफ, कई कमांडर और कई आतंकी मारे जा चुके हैं। साथ ही कई निर्दोष लोग भी इज़रायली हवाई हमलों में मारे गए हैं। इज़रायली हमलों की वजह से लेबनान में अब तक करीब 3,700 लोग मारे जा चुके हैं और लाखों लोग विस्थापित हो गए हैं। जान के साथ माल का भी काफी नुकसान हुआ है। लेकिन अब लेबनान में और तबाही नहीं मचेगी। इसकी वजह है सीज़फायर (Ceasefire)।
इज़रायल और हिज़बुल्लाह के बीच अब युद्ध-विराम लागू कर दिया गया है। इससे लेबनान में तुरंत प्रभाव से जंग रुक गई है। जब से इज़रायल ने हिज़बुल्लाह के खिलाफ जंग तेज़ करते हुए लेबनान पर हवाई हमले करने शुरू किए थे, तभी से दुनिया के कई देश सीज़फायर की मांग उठा रहे थे और अब दोनों पक्षों की तरफ से सीज़फायर को ग्रीन सिग्नल दे दिया गया है। दोनों पक्षों के बीच हुए समझौते में 60 दिनों के युद्ध-विराम का आह्वान किया गया है, जिसमें इज़रायल लेबनान से अपनी सेना हटाएगा और हिजबुल्लाह दक्षिणी लेबनान से हटेगा। हालांकि अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन (Joe Biden) का कहना है कि युद्ध-विराम का यह समझौता स्थायी होगा। अमेरिका (United States Of America) की अध्यक्षता में एक इंटरनेशनल मॉनिटरिंग ग्रुप इस बात का ध्यान रखेगा कि दोनों पक्षों की तरफ से सीज़फायर के शर्तों का पालन किया जाए।
इज़रायली सेना ने दक्षिण लेबनान के निवासियों को युद्ध-विराम के बाद सैन्य ठिकानों के पास न जाने की चेतावनी दी है। सीज़फायर लागू होने और इसके प्रावधानों के आधार पर लेबनान के निवासियों को उन गांवों की ओर जाने से प्रतिबंधित किया गया है जिन्हें इज़रायली सेना ने खाली करने का आदेश दिया है या उस क्षेत्र में जहाँ इज़रायली सेना के सैन्य ठिकाने हैं। इस युद्ध में अब तक इज़रायल के भी करीब 130 लोग मारे गए हैं, जिनमें सैनिक और नागरिक शामिल हैं।
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Updated on:
27 Nov 2024 12:29 pm
Published on:
27 Nov 2024 11:42 am
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