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आगरा। तूफान ने आगरा की संपत्ति को तो नष्ट किया है, इसके साथ ही दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड को भी भारी नुकसान पहुंचाया। आलम ये है कि दो मई और 11 अप्रैल को आए तूफान के बाद आगरा के 390 गांव अंधेरे में डूब गए। यहां अभी तक विद्युत आपूर्ति सुचारू नहीं हो सकी है। दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड द्वारा दिन रात काम कर इन गांव में विद्युत सुचारू करने का काम किया जा रहा है।
15 करोड़ का झटका
तूफान ने विद्युत विभाग को 15 करोड़ का झटका दिया है। 11 अप्रैल को पहला तूफान आया, तब शहर की भी विद्युत व्यवस्था चरमारा गई, लेकिन 2 मई को आए तूफान ने ग्रामीण क्षेत्र में जमकर तबाही मचाई। शहर की बात करें, तो यहां टोरंट पॉवर को भारी नुकसान हुआ, लेकिन इसके अलावा जहां तक दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम की बिजली व्यवस्था है, वहां बड़ा नुकसान हुआ। आगरा की विद्युत व्यवस्था ध्वस्त हो गई आलम ये है कि आज भी 390 गांव में बिजली नहीं पहुंच पाई है।
इन गांव में पहुंची बिजली
तूफान के बाद 1425 गांव में अंधेरा छा गया था, 10 दिनों में दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम के अधिकारियों ने दिन रात की मेहनत कर 1000 गांव की विद्युत व्यवस्था को पटरी पर लौटा लिया, लेकिन अभी भी 390 गांव बिजली की राह देख रहे हैं। तूफान प्रभावित गांवों में अभी तक बिजली नहीं पहुंच पाई है। बिजली ना पहुंचने से लोग पीने के पानी को तरस रहे हैं। दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम के एमडी एसके वर्मा ने बताया कि अभी तक 390 गांव में बिजली नहीं पहुंच पाई है। यह तूफान प्रभावित गांव है, जहां बिजली पहुंचाने की कोशिश लगातार जारी है।
Published on:
12 May 2018 05:59 pm
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