
सेटिंग करने का वीडियो हुआ वायरल
Agra News: आगरा राजकीय आईटीआई बल्केश्वर में अखिल भारतीय व्यवसायिक परीक्षा में प्रैक्टिकल के नंबर देने के लिए वसूली का वीडियो सोशल मीडिया के माध्यम से सामने आया है। वीडियो में बच्चों के नंबर चढ़ाने के बदले रिश्वत के पैसों के बारे में बातचीत दिखाई दे रही है। मामला लखनऊ तक के अधिकारियों के संज्ञान में आ गया है।
राजकीय आईटीआई बल्केश्वर द्वारा 3 जुलाई से सात जुलाई तक हुई अखिल भारतीय व्यवसायिक परीक्षा के प्रैक्टिकल इम्तिहान करवाने की कोई व्यवस्था संस्थान में नहीं है पर आरोप लग रहे हैं कि प्रिंसिपल एम के सिंह के द्वारा बाबुओं से प्रैक्टिकल के नाम पर वसूली करवाई जा रही है। अवैध रूप से प्रैक्टिकल के नाम पर प्राइवेट और सरकारी छात्रों से 50 लाख रुपए से ज्यादा की वसूली की गई है। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार वसूली के रेट पूछने के दौरान किसी ने अनुदेशकों का वीडियो बनाकर वायरल कर दिया है। वायरल वीडियो में युवकों द्वारा जब प्रिंसिपल के द्वारा वसूली में लगाए गए अनुदेशक गौरव सिंह और रविन्द्र् राठी से बात की गई तो उन्होंने पहले जो पैसे लगते थे वही देने की बात कही और बाद में राजीव राठी ने फाइल पर लिखकर इशारों में प्राइवेट बच्चे के लिए 500 रुपए प्रति के हिसाब से पेमेंट करने पर प्रैक्टिकल में पास करने की बात बताई। मामले के बारे में प्रिंसिपल एम के सिंह से कई बार बात करने का प्रयास किया गया पर वसूली की बात पूछने पर उन्होंने मीडिया से बात करने से इंकार कर दिया। शनिवार को माह का दूसरा शनिवार होने के कारण छुट्टी होते हुए भी अनुदेशक परिसर के कमरा नंबर छः में बैठकर वसूली करते रहे। मामले की गूंज लखनऊ तक होने के बाद अब प्रिंसिपल और अनुदेशक डैमेज कंट्रोल करने के प्रयास में जुटे हुए हैं।
लाखों की वसूली सिर्फ प्रैक्टिकल में
राजकीय आईटीआई बल्केश्वर के अधीन 125 प्राइवेट आईटी कालेज हैं और उनमें करीब 9 हजार के लगभग छात्र हैं। इसके साथ ही 1800 छात्र सरकारी सीट पर पढ़ाई कर रहे हैं। अखिल भारतीय व्यवसायिक परीक्षा के प्रैक्टिकल की अंक चिट स्कूल के पोर्टल पर अपलोड होती है और उस चिट को प्रिंसिपल एम के सिंह के पास भेजा जाता है। प्रिंसिपल के द्वारा एक्जामनर के द्वारा दिए गए नंबर चढ़ा कर अंक चिट दोबारा अपलोड की जाती है। लेकिन इस बार यहां प्रैक्टिकल के नंबर योग्यता के आधार पर नहीं बल्कि पैसे के आधार पर दिए जा रहे हैं। वायरल हुए वीडियो के अनुसार शाम पांच बजे कालेज बंद होने के बाद भी कमरा नंबर 6 में अनुदेशक गौरव सिंह और रविन्द्र राठी अंदर बैठे मिले। एक आईटीआई में पचास बच्चों के होने की बात कहकर जब वीडियो बनाने वाले ने उनसे प्रैक्टिकल में नंबर चढ़वाने का दाम पूछा तो उन्होंने साफ तौर पर पिछली बार वाले रेट देने की बात कही, जब युवकों ने थोड़ा और कुरेद कर उनसे दाम पूछा तो राजीव राठी ने तत्काल अपने पास रखी फाइल के कवर पर 500 रुपए प्रति छात्र लिखकर दिखाया और इसके बाद युवक कुछ ही देर में पैसे लेकर आने की बात कहकर वहां से बाहर आ गए । मामले में प्रिंसिपल एम के सिंह से उनका पक्ष जानने के लिए कई बार बात का प्रयास किया गया पर उन्होंने बात करने से इंकार कर दिया। इसके बाद जब ज्वाइंट डायरेक्टर योगेंद्र सिंह से बात की गई तो उन्होंने पहले प्रिंसिपल से पक्ष जानने को कहा और फिर खुद के मीटिंग में होने की बात कहकर बात करने से इंकार कर दिया।
पहले से विवादों में हैं अनुदेशक और प्राचार्य
बता दें कि प्राचार्य एम के सिंह और दोनों अनुदेशकों पर बीते सत्र में संस्थान के विभिन्न कोर्सों में सरकारी सीट पर एडमिशन मेरिट लिस्ट के अनुसार न करते हुए आखिरी दिन लिस्ट बदलकर चिपकाने और मेधावियों की बजाए पैसे लेकर एडमिशन करने की शिकायत के बाद जांच के आदेश हुए हैं और जांच डायरेक्टर आईएएस यशु रस्तोगी के द्वारा की जा रही है। इसी संस्थान में अभी बीते नवंबर माह में एक कर्मचारी के ऊपर बलात्कार का आरोप लगाते हुए अज्ञात महिला का शिकायत पत्र दिया गया था और उसपर भी जांच बैठी थी।
Published on:
08 Jul 2023 07:21 pm
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