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भारतीय मूल की राजनयिक उजरा जेया ने ट्रंप प्रशासन को दिया इस्तीफा, लगाए गंभीर आरोप

इस्तीफा सौंपते हुए उन्होंने प्रशासन पर आरोप लगाया कि यहां स्टेट डिपार्टमेंट के शीर्ष पदों से अल्पसंख्यकों को हटाने का ट्रेंड चल रहा है।

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Uzra zeya an indian origin diplomat to US resigns due to racism

भारतीय मूल की राजनयिक उजरा जेया ने ट्रंप प्रशासन से दिया इस्तीफा, लगाए गंभीर आरोप

वाशिंगटन। भारतीय मूल की एक अमरीकी राजनयिक ने ट्रंप प्रशासन पर नस्लभेदी और महिलाविरोधी होने का आरोप लगाते हुए अपना इस्तीफा सौंप दिया। अमरीका में ही जन्मीं उजरा जेया ने 25 साल तक स्टेट डिपार्टमेंट में कार्यरत रहने के बाद अपने पद से इस्तीफा दे दिया। इस्तीफा सौंपते हुए उन्होंने प्रशासन पर आरोप लगाया कि यहां स्टेट डिपार्टमेंट के शीर्ष पदों से अल्पसंख्यकों को हटाने का ट्रेंड चल रहा है।

एक राजनीतिक पत्र में बताया इस्तीफे का कारण

जेया ने अपना इस्तीफा एक राजनीतिक पत्र में लिखकर सौंपा जिसमें उन्होंने अपने इस फैसले का कारण भी बताया। उनका दावा है कि उन्हें नस्लीय भेदभाव और महिला होने के नाते अपमानजनक स्थितियों का सामना करना पड़ा है। उन्होंने पत्र में ये भी लिखा, 'ट्रंप प्रशासन के शुरुआती 5 महीनों में तीन मामले सामने आए जहां वरिष्ठ अफ्रीकी-अमरीकी टॉप लेवल अधिकारियों को इस्तीफा देना पड़ा या संभवत: उन्हें उनके पद से हटा दिया गया। वहीं दूसरी ओर उनकी जगह लेने वाले सभी व्यक्ति गोरी नस्लवाले लोग थे। मैंने हाल के कुछ महीनों में देखा है कि अल्पसंख्यक समुदाय से आनेवाले अधिकारियों को अच्छी योग्यता होने के बाद भी उससे कमतर जिम्मेदारी दी जाती है। साथ ही ब्यूरो लीडरशिप और प्रमुख राजदूतों जैसे शीर्ष पदों या भूमिका से दूर रखा जा रहा है।

आरोपों को साबिक करने के सबूत भी उपलब्ध

जेया ने साथ ही ये भी दावा किया 451कि अमेरिकन फॉरेन सर्विस असोसिएशन के पब्लिक डाटा के गहन अध्ययन के बाद से उन्होंने अपने आरोपों की पुष्टि करने के लिए कई डाटा मिले हैं। उन्होंने कहा, 'ट्रंप प्रशासन के नामित अधिकारियों में से 64 फीसदी लोग ऐसे हैं जो लातिन अमरीकी मूल के नहीं हैं। ये आकंड़ा ओबामा प्रशासन के 8 सालों के कार्यकाल से 7 फीसदी अधिक है। वहीं महिला राजदूतों की बात करें तो प्रशासन उनकी भी छटनी के लिए तैयार है। ट्रंप प्रशासन में सिर्फ 26 फीसदी महिलाएं कार्यरत हैं, जो कि ओबामा कार्यकाल से 7 फीसदी कम है।