नसीराबाद रोड स्थित बीर गांव में ब्रिटिश काल में बना फूल सागर तालाब इस बार अच्छी बरसात के बाद लबालब हो गया। तालाब के भरने से गांव में खुशी का माहौल है। तालाब में नहाने और पूजा करने के लिए ग्रामीण उमड़ रहे है।
अजमेर। नसीराबाद रोड स्थित बीर गांव में ब्रिटिश काल में बना फूल सागर तालाब इस बार अच्छी बरसात के बाद लबालब हो गया। तालाब के भरने से गांव में खुशी का माहौल है। तालाब में नहाने और पूजा करने के लिए ग्रामीण उमड़ रहे है। यह अजमेर का सबसे पुराना पिकनिक स्पॉट रहा है।
विदा होते मानसून के बीच मंगलवार को 50 साल लंबे इंतार के बाद ग्राम बीर के ऐतिहासिक फूलसागर तालाब की चादर आखिर छलकर गई। ग्राम पंचायत बीर की प्रशासक सायरा बानो, उपसरपंच रामलाल गुर्जर, समाजसेवी हाजी मुराद अली, पूर्व सरपंच श्रीनगर रामकरण यादव की मौजूदगी में बीर तालाब की पाल पर एकत्र ग्रामीणों ने तालाब को चुनरी ओढ़ाई एवं मिठाई बांटकर खुशी व्यक्त की।
गौरतलब है कि ताबाल का जलस्तर 30 फीट के करीब हो गया। तेज हवाएं चलने से तालाब का पानी छलक कर कुछ घंटों तक चादर के रूप में बाहर निकलता रहा, जो बाद में बंद हो गया। लबालब हुए ताबाल को देखने के लिए दिन भर ग्रामीणों की भीड़ लगी रही। गौरतलब है कि अंग्रेजों की ओर से बनवाए गए तालाब की पत्थर की बनी पाल 300 फीट लंबी है। पाल को मजबूती देने के लिए शीशा पिघलाकर चूने के साथ डाला गया था।
1 अजमेर से 16 किलोमीटर की दूरी पर है बीर गांव
2- 600 बीघा में बीर तालाब का फैलाव
3 - 116.94 एमसीएफटी भराव क्षमता
4- 216 मीटर वेस्ट वियर की लम्बाई
5- 32 फीट पूर्ण भराव क्षमता तालाब की
6- 25 फीट पानी आया था 1980 में
7- 17 फीट पानी 1996 में
8-30 फीट पानी आया 2025 में
9- तालाब के पास बना है अंग्रेजों के जमाने का डाक बंगला।