अयोध्या तीर्थ की सुरक्षा व्यवस्था अब और मजबूत की जा रही है, लगातार आतंकियों के निशाने पर रहने वाली अयोध्या की सुरक्षा के व्यापक प्रबंध किए जा रहे हैं। इसमें अब अत्याधुनिक टेक्नोलॉजी का जमकर इस्तेमाल किया जाएगा।
रामनगरी अयोध्या की सिक्यूरिटी अब AI सॉल्यूशंस (आर्टीफीशियल इंटीलिजेंस) के जरिये अभेद्य की जाएगी। इसके तहत पूरे अयोध्या धाम में सीसीटीवी कैमरों का एक जाल बिछाया जाएगा। ये सभी कैमरे एक सॉफ्टवेयर से अटैच रहेंगे, हर पल होती रहेगी क्षेत्र की मॉनिटरिंग। किसी भी अप्रिय स्थिति में पल भर में ही टारगेट को खत्म कर दिया जाएगा।
अयोध्या करोड़ों हिंदुओं की आस्था का केंद्र है, नब्बे के दशक से ही यह नगरी हमेशा आतंकियों के टारगेट पर रहती है। बाबरी विध्वंस से लेकर श्रीराम के भव्यतम मंदिर निर्माण के बाद लगातार धमकियां मिलती रह रही हैं।इसके अलावा जिले में हर समय रामलला के दर्शन-पूजन को वीवीआईपी दौरे भी होते हैं। इस लिहाज से सुरक्षा तंत्र मजबूत किया गया है। अब इसमें तकनीक का अधिक उपयोग करने की योजना है। इसके लिए पुलिस AI सॉल्यूशंस का उपयोग करेगी।
IG प्रवीण कुमार ने बताया कि इस टेक्नोलॉजी से फेस रिकग्निशन आसानी से हो सकेगा। किसी भी संदिग्ध का स्केच सॉफ्टवेयर में डालते ही उसकी सटीक लोकेशन पता चलेगी। संदिग्ध व्यक्ति की कपड़े से पहचान हो सकेगी। किसी विशेष रंग के कपड़े वाले व्यक्ति को खोजने के लिए सॉफ्टवेयर की मदद से संबंधित इलाके में उस विशेष रंग के पहने कपड़ों वाले सभी व्यक्ति चिह्नित हो जाएंगे, जिनकी जांच के बाद अपराधी तक पहुंचा जा सकेगा।
सीसीटीवी कैमरों में अपराधियों का चेहरा कैद होते ही।AI की मदद से कंट्रोल रूम में अलर्ट चला जाएगा। वहीं, बार-बार वाहनों के नंबर प्लेट बदलकर घूमने वालों पर भी शिकंजा कसा जा सकेगा। उन्होंने बताया कि इस महत्वपूर्ण सेवा के लिए प्रस्ताव तैयार करके शासन भेजा गया है। वहीं से बजट जारी होकर कार्य प्रारंभ होगा। IG ने बताया कि अयोध्या जैसे संवेदनशील तीर्थस्थल की किसी भी दशा में सुरक्षा से समझौता नहीं किया जा सकता।