अखिलेश यादव ने आजमगढ़ में अपना नया घर बनवाया है। आज इस नए घर का गृह प्रवेश था। इस दौरान गृह प्रवेश कराने के लिए काशी के पंडित नहीं पहुंचे। गृह प्रवेश कराने पंडितों का न आना इटावा कथावाचक कांड से जोड़कर देखा जा रहा है।
Akhilesh Yadav : अखिलेश यादव ने 2027 के चुनाव को ध्यान में रखते हुए पूर्वांचल में पार्टी की पकड़ और मजबूत करने के लिए आजमगढ़ में एक नया घर बनवाया है। उन्होंने यह घर आजमगढ़ के अनवरगंज क्षेत्र में बनवाया। इस भवन का नाम पीडीए भवन रखा। आज इस भवन के गृह प्रवेश का कार्यक्रम था, लेकिन गृह प्रवेश कराने के लिए काशी के पंडित नहीं पहुंचे। सूत्रों के अनुसार अखिलेश यादव काशी के पंडितों से गृह प्रवेश करवाना चाहते थे। उन्होंने फिर स्थानीय पंडितों से गृह प्रवेश करवाया।
सूत्रों का मानना है कि काशी के पंडितों ने इटावा कांड को लेकर नाराजगी जताई और गृह प्रवेश पूजा कराने से इनकार कर दिया। माना जा रहा है कि कुछ समय पहले इटावा में ब्राह्मण समाज से जुड़े एक मामले को लेकर काशी के धर्माचार्यों ने अप्रसन्नता जताई थी, जिसका असर अब देखने को मिला।
काशी के पंडितों के गृह प्रवेश से इनकार के बाद, आजमगढ़ के स्थानीय ब्राह्मणों ने कार्यक्रम को आगे बढ़ाया। सगड़ी क्षेत्र के निवासी चंदन जी मेहराज ने गृह प्रवेश की विधि संपन्न कराई, जबकि अतरौलिया के स्याम धर चौबे ने भूमि पूजन कराया। दोनों स्थानीय पुरोहितों ने पारंपरिक वैदिक विधियों से पूजा संपन्न कराई, जिसमें अखिलेश यादव के परिवार के सदस्य भी शामिल रहे।
दरअसल, अखिलेश ने आजमगढ़ में 72 बिस्वा में नया घर बनवाया है। आज अकेले ही पहुंचकर उन्होंने गृह प्रवेश की पूजा की। इस घर में अखिलेश का ऑफिस रूम, 3 पर्सनल कमरे, सेक्रेटरी के लिए ऑफिस और समर्थकों के लिए बड़ा हॉल बनाया गया है। जिला मुख्यालय से 7 किमी दूर अनवरगंज में यह बना है।
अखिलेश के गृह प्रवेश कार्यक्रम में करीब 25 हजार अधिक लोगों की भीड़ है। इसके लिए कैंपस परिसर में जर्मन हैंगर लगाया गया है। मंच से सपा विधायक आलम बदी ने कहा- नेताजी कहते थे कि मेरा एक घर इटावा और दूसरा आजमगढ़ हैं। आज सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने उनका सपना पूरा कर दिया। आजमगढ़ में कार्यालय बनाकर बता दिया कि ये नेताजी का दूसरा घर भी आबाद हो गया।