26 सितंबर को शहर की कानून-व्यवस्था को दहलाने वाले घटनाक्रम का मास्टरमाइंड और आईएमसी प्रमुख तौकीर रजा खां शुक्रवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए कोर्ट में पेश किया गया। अदालत ने मामले की अगली सुनवाई 22 दिसंबर नियत की है। फिलहाल तौकीर खां फतेहगढ़ जेल में बंद हैं।
बरेली। 26 सितंबर को शहर की कानून-व्यवस्था को दहलाने वाले घटनाक्रम का मास्टरमाइंड और आईएमसी प्रमुख तौकीर रजा खां शुक्रवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए कोर्ट में पेश किया गया। अदालत ने मामले की अगली सुनवाई 22 दिसंबर नियत की है। फिलहाल तौकीर खां फतेहगढ़ जेल में बंद हैं। पुलिस ने बताया कि चार मामलों में उन्हें जमानत मिल चुकी है, जबकि छह गंभीर मुकदमों में जमानत अभी बाकी है।
पुलिस के अनुसार, यह हिंसा आई लव मोहम्मद पोस्टर विवाद के बहाने भड़काई गई थी। तौकीर रजा ने लोगों को इस्लामिया ग्राउंड में बड़ी संख्या में जुटने का आह्वान किया, जबकि प्रशासन ने प्रोटेस्ट की अनुमति नहीं दी थी। बावजूद इसके तौकीर ने पुलिस और प्रशासन को खुलेआम चुनौती दी। उन्होंने वीडियो संदेश जारी कर लोगों को भड़काया और चेतावनी दी कि अगर उन्हें ग्राउंड में आने से रोका गया तो परिणाम गंभीर होंगे।
इसी उकसावे के बाद, इस्लामिया ग्राउंड के पास खलिल तिराहे से हिंसा की शुरुआत हुई। नमाज के बाद भीड़ ने पुलिस पर पथराव किया और पुलिस पर फायरिंग व पेट्रोल बम हमला किया। घटनास्थल पर गाड़ियों को भी निशाना बनाया गया। पुलिसकर्मियों पर हुई इस हमले में 22 पुलिसकर्मी घायल हुए।
पुलिस ने तौकीर रजा पर 2010 के दंगों जैसी साजिश रचने का आरोप लगाया है। बरेली पुलिस ने अब तक 10 मुकदमे दर्ज किए हैं, जिनमें हत्या की कोशिश, भीड़ को उकसाने, पुलिस पर हमला, पेट्रोल बम फेंकना, लूटपाट और दंगा भड़काने जैसी गंभीर धाराएं शामिल हैं। पुलिस सूत्रों का कहना है कि तौकीर रजा का उद्देश्य शहर को आग के हवाले करना और कानून-व्यवस्था को चुनौती देना था। अधिकारियों ने चेतावनी दी है कि ऐसे गिरोहों के खिलाफ कड़ाई से कार्रवाई जारी रहेगी।