राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड की परीक्षा 6 मार्च से
Bhilwara news : बोर्ड परीक्षार्थियों ने मन के सवालों तथा डॉउट क्लियर करने के लिए राजस्थान पत्रिका ने बोर्ड परीक्षा को लेकर विशेष मुहिम चलाई है। 15 फरवरी से सीबीएसइ परीक्षा शुरू होगी। राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड की परीक्षा 6 मार्च से शुरू होगी। परीक्षार्थी परीक्षा को लेकर संवेदनशील है। दिन रात एक कर पढ़ाई में व्यस्त दिख रहे हैं। विद्यार्थी को अध्ययन के लिए विषयवार टाइम टेबल बनना चाहिए तथा टाइम के अनुसार ही कम से कम दस घंटे पढाई करनी चाहिए। पढ़ाई के साथ सोना आवश्यक है। विषयवार रिवीजन बोर्ड परीक्षा में उच्चतम अंक लाने का सबसे बड़ा फार्मूला है।
कर्मण्य प्रह्लादका
12वीं- वर्ष 2024
92.40 प्रतिशत सीबीएसइ
कठिन विषय का रिवीजन करते रहें
छात्र कर्मण्य प्रह्लादका ने बताया कि सीबीएसइ 12वीं बोर्ड परीक्षा सत्र 2023-24 में 92.40 फीसदी अंक अर्जित किए थे। मेरा यह मानना है कि जो विद्यार्थी सालभर पढ़ते हैं, उनके लिए बोर्ड परीक्षा भारी नहीं है। प्रयास यही करना है कि जो पढ़ा है, उसका अभ्यास करें। गत वर्ष के बोर्ड पेपर, मॉडल पेपर ध्यान से पढ़ें। परीक्षा पैटर्न व सिलेबस को अच्छे से समझें। विषयवार टाइम टेबल बनाए। कठिन विषय का रिवीजन करना चाहिए। स्मार्ट स्टडी पर अधिक फोकस करें। बोर्ड परीक्षा देने वाले विद्यार्थियों को बताना चाहता हूं कि परीक्षा में अच्छे अंक लाने के लिए टाइम मैनेजमेंट बहुत जरूरी है। इसके लिए मैंने भी नियमित कौनसा विषय पढऩा है, कितनी देर पढऩा है, इसका टाइम टेबल बनाया। प्रत्येक विषय पर पूरा फोकस रखा। खुद के नोट्स तैयार किए। छोटे लक्ष्य बनाए। मॉक टेस्ट दी। मॉडल पेपर हल किए। इससे परीक्षा के दौरान परेशानी नहीं आई। मोबाइल व सोशल मीडिया से दूर रहीं। वर्तमान में बिट्स पिलानी हैदराबाद में अध्ययनरत है कर्मण्य प्रह्लादका।
पिहू अंजना -92
12वीं-वर्ष 2024
92.00 प्रतिशत सीबीएसइ
प्रश्न पत्र किए हल ताकि परीक्षा में लिख सकू अच्छे से जवाब
पिहू अंजना 12वीं परीक्षा में 95.60 प्रतिशत अंक प्राप्त कर अव्वल रही थी। इसकी इस सफलता में परिवार के सदस्यों का भी सहयोग रहा। उन्होंने उसे सिखाया कि किस तरह परीक्षा में टाइम मैनेजमेंट कर सफलता हासिल की जा सकती है। परीक्षा में अच्छे अंक लाने के साथ हर क्षेत्र में सफलता लिए टाइम मैनेजमेंट बहुत जरूरी है। इसके लिए रोजाना स्कूल के अलावा 6 से 7 घंटे पढ़ती थी। अध्ययन के साथ पुराने प्रश्न पत्रों का अभ्यास किया। बोर्ड की वेबसाइट पर उपलब्ध सभी प्रश्न पत्र पूरे हल किए। वह भी उस तरह जैसे परीक्षा में करते हैं। तय समय पर प्रश्न पत्र हल करने बैठना, परीक्षा की तरह पूरा प्रश्न पत्र निश्चित समय में करने के बाद पिता या माता से जांच करवाती। इसके अलावा अध्यापकों की ओर से स्कूल में दिए सवालों को भी याद किया।