भोपाल

मध्यप्रदेश की विरासत का जलवा, UNESCO की सूची में शामिल हुई 6 नई धरोहरें

UNESCO heritage list: यूनेस्को (UNESCO) ने प्रदेश के छह और ऐतिहासिक स्थलों को अपनी संभावित विश्व धरोहर सूची में शामिल कर लिया है। इससे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर इन धरोहरों की पहचान बनेगी।

2 min read
Mar 12, 2025

UNESCO heritage list: मध्यप्रदेश की ऐतिहासिक, पुरातात्विक और पर्यटन की दृष्टि से महत्वपूर्ण धरोहरें अब वैश्विक मंच पर अपनी अलग पहचान बना रही हैं। यूनेस्को (UNESCO) ने प्रदेश के छह और ऐतिहासिक स्थलों को अपनी संभावित विश्व धरोहर सूची में शामिल कर लिया है। इनमें सम्राट अशोक के शिलालेख, चौसठ योगिनी मंदिर, गुप्तकालीन मंदिर, बुंदेला शासकों के महल और किले प्रमुख रूप से शामिल हैं।

अगर सब कुछ सही रहा, तो ये धरोहरें स्थायी रूप से यूनेस्को की विश्व धरोहर सूची में स्थान पा सकती हैं, जिससे मध्यप्रदेश को पर्यटन और सांस्कृतिक महत्व के मामले में बड़ा लाभ मिलेगा। इससे न केवल अंतरराष्ट्रीय स्तर पर इन धरोहरों की पहचान बनेगी, बल्कि स्थानीय रोजगार और स्वरोजगार के नए अवसर भी बढ़ेंगे।

मध्यप्रदेश की 18 धरोहरें यूनेस्को की सूची मे

यूनेस्को ने पिछले वर्ष मध्यप्रदेश की छह धरोहरों को संभावित सूची में शामिल किया था। अब इन नए स्थलों को जोड़ने के बाद प्रदेश की कुल 18 धरोहरें इस सूची में शामिल हो चुकी हैं। इनमें से 3 स्थायी सूची में हैं, जबकि 15 संभावित सूची में शामिल की गई हैं।

स्थायी रूप से सूचीबद्ध धरोहरें

  1. खजुराहो के मंदिर समूह – अपने अद्भुत वास्तुकला और शिल्पकला के लिए प्रसिद्ध।
  2. भीमबेटका की गुफाएं – प्राचीन मानव सभ्यता के प्रमाण वाली प्रागैतिहासिक गुफाएं।
  3. सांची स्तूप – बौद्ध संस्कृति और विरासत का प्रतीक।

संभावित सूची में शामिल नई धरोहरें

  1. सम्राट अशोक के शिलालेख – प्राचीन भारत के महान सम्राट अशोक द्वारा शिला पर उकेरे गए आदेश और संदेश।
  2. चौंसठ योगिनी मंदिर– अद्वितीय वास्तुकला और तांत्रिक परंपरा से जुड़े मंदिर।
  3. गुप्तकालीन मंदिर– भारत के स्वर्ण युग के दौरान निर्मित प्राचीन मंदिर।
  4. बुंदेला शासकों के महल और किले – ऐतिहासिक रूप से महत्वपूर्ण शासकों की शान बढ़ाने वाले स्थापत्य।

पहले से संभावित सूची में शामिल धरोहरे

  • मांडू के स्मारकों का समूह
  • ओरछा का ऐतिहासिक समूह
  • नर्मदा घाटी में भेड़ाघाट-लमेटाघाट
  • सतपुड़ा टाइगर रिजर्व
  • अशोकनगर का चंदेरी

2023 में शामिल 6 धरोहरें

  • ग्वालियर किला
  • बुरहानपुर का खूनी भंडारा
  • चंबल घाटी के शैलकला स्थल
  • भोजपुर मंदिर
  • रामनगर गोंड स्मारक
  • धमनार का ऐतिहासिक समूह

प्रदेश की धरोहरों को वैश्विक पहचान दिलाने का प्रयास

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि सरकार ऐतिहासिक और पर्यटन स्थलों को संरक्षित करने और विकसित करने में कोई कसर नहीं छोड़ेगी। "हम इन स्थलों को वैश्विक पहचान दिलाने के लिए निरंतर प्रयासरत हैं," उन्होंने कहा।

यूनेस्को की संभावित सूची में शामिल होने से मध्यप्रदेश के इन धरोहर स्थलों को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान मिलेगी और दुनियाभर से पर्यटक आकर्षित होंगे। इससे प्रदेश के पर्यटन उद्योग को भी नई ऊंचाइयां मिलेंगी।

Published on:
12 Mar 2025 08:11 am
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