UNESCO heritage list: यूनेस्को (UNESCO) ने प्रदेश के छह और ऐतिहासिक स्थलों को अपनी संभावित विश्व धरोहर सूची में शामिल कर लिया है। इससे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर इन धरोहरों की पहचान बनेगी।
UNESCO heritage list: मध्यप्रदेश की ऐतिहासिक, पुरातात्विक और पर्यटन की दृष्टि से महत्वपूर्ण धरोहरें अब वैश्विक मंच पर अपनी अलग पहचान बना रही हैं। यूनेस्को (UNESCO) ने प्रदेश के छह और ऐतिहासिक स्थलों को अपनी संभावित विश्व धरोहर सूची में शामिल कर लिया है। इनमें सम्राट अशोक के शिलालेख, चौसठ योगिनी मंदिर, गुप्तकालीन मंदिर, बुंदेला शासकों के महल और किले प्रमुख रूप से शामिल हैं।
अगर सब कुछ सही रहा, तो ये धरोहरें स्थायी रूप से यूनेस्को की विश्व धरोहर सूची में स्थान पा सकती हैं, जिससे मध्यप्रदेश को पर्यटन और सांस्कृतिक महत्व के मामले में बड़ा लाभ मिलेगा। इससे न केवल अंतरराष्ट्रीय स्तर पर इन धरोहरों की पहचान बनेगी, बल्कि स्थानीय रोजगार और स्वरोजगार के नए अवसर भी बढ़ेंगे।
यूनेस्को ने पिछले वर्ष मध्यप्रदेश की छह धरोहरों को संभावित सूची में शामिल किया था। अब इन नए स्थलों को जोड़ने के बाद प्रदेश की कुल 18 धरोहरें इस सूची में शामिल हो चुकी हैं। इनमें से 3 स्थायी सूची में हैं, जबकि 15 संभावित सूची में शामिल की गई हैं।
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि सरकार ऐतिहासिक और पर्यटन स्थलों को संरक्षित करने और विकसित करने में कोई कसर नहीं छोड़ेगी। "हम इन स्थलों को वैश्विक पहचान दिलाने के लिए निरंतर प्रयासरत हैं," उन्होंने कहा।
यूनेस्को की संभावित सूची में शामिल होने से मध्यप्रदेश के इन धरोहर स्थलों को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान मिलेगी और दुनियाभर से पर्यटक आकर्षित होंगे। इससे प्रदेश के पर्यटन उद्योग को भी नई ऊंचाइयां मिलेंगी।