
MP Economic Survey
MP Economic Survey एमपी में समृद्धि बढ़ रही है। प्रदेश में प्रति व्यक्ति आय में बढ़ोत्तरी हुई है। एमपी का सकल घरेलू उत्पाद भी 2024-25 में प्रचलित भावों पर 1503395 करोड़ रुपए पर पहुंच गया है। प्रदेश के वर्ष 2024-25 के आर्थिक सर्वेक्षण में ये तथ्य सामने आए। राज्य के उप मुख्यमंत्री और वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा ने यह आर्थिक सर्वेक्षण प्रस्तुत किया। उन्होंने बताया कि 2028-29 तक सकल घरेलू उत्पाद दोगुना करने का लक्ष्य है। वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा बुधवार को प्रदेश का बजट प्रस्तुत करेंगे।
मध्यप्रदेश के सकल घरेलू उत्पाद (जीएसडीपी) में पिछले वित्तीय वर्ष से 11.05 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। वर्ष 2023-24 में यह 1353809 करोड़ रुपए था जोकि वर्ष 2024-25 में बढ़कर प्रचलित भावों पर 1503395 करोड़ रुपए पर पहुंच गया।
मंगलवार को विधान सभा में प्रस्तुत मध्यप्रदेश आर्थिक सर्वेक्षण वर्ष 2024-25 के अनुसार प्रदेश का सकल घरेलू उत्पाद वर्ष 2024-25 में स्थिर भावों पर जीएसडीपी 712260 करोड़ रूपये है जो वर्ष 2023-24 में 671636 करोड़ रहा। यह 6.05 प्रतिशत की वास्तविक वृद्धि दिखाता है।
मध्यप्रदेश के आर्थिक सर्वेक्षण में दावा किया गया है कि स्थिर भावों पर प्रति व्यक्ति बढ़ गई है। मध्यप्रदेश की प्रति व्यक्ति आय वर्ष 2024-25 में प्रचलित भावों पर 152615 रुपए हो गई है। वर्ष 2023-24 में प्रति व्यक्ति आय 139713 रुपए थी। इस प्रकार एक साल में प्रति व्यक्ति आय में 12902 रुपए की बढ़ोत्तरी हो गई है। स्थिर भाव पर वर्ष 2024-25 में प्रति व्यक्ति आय 70434 है जोकि वर्ष 2023-24 में 67301 थी। स्थिर भाव पर प्रति व्यक्ति आय में 3133 रुपए की बढ़ोत्तरी हुई है।
मध्यप्रदेश के सकल मूल्य वर्धन में प्रचलित भावों पर वर्ष 2024-25 में क्षेत्रवार हिस्सेदारी क्रमश: प्राथमिक क्षेत्र में 44.36 प्रतिशत, द्वितीयक क्षेत्र में 19.03 प्रतिशत तथा तृतीयक क्षेत्र में 36.61 प्रतिशत रही है।
वित्त मंत्री ने बताया कि प्रदेश ने लोक वित्त में अपनी मजबूत अर्थव्यवस्था बनाये रखने के लिए प्रभावी कदम उठाए। वित्तीय वर्ष 2024-25 में राजस्व अधिशेष 1700 करोड़ रुपए रहने का अनुमान है, जबकि राजकोषीय घाटा जीएसडीपी के 4.11 प्रतिशत तक सीमित रहेगा। राजस्व प्राप्तियां 263344 करोड़ रुपए तक पहुंचने का अनुमान है।
प्रदेश के आर्थिक सर्वेक्षण के अनुसार कृषि फसल क्षेत्र का प्राथमिक क्षेत्र के अंतर्गत योगदान वर्ष 2024-25 में 30.90 प्रतिशत रहा लेकिन प्रचलित भाव पर यह 10.8 प्रतिशत बढ़ा जबकि स्थिर भाव में 1.6 प्रतिशत की वृद्धि हुई। इसी तरह पशुधन क्षेत्र में 7.45 प्रतिशत का योगदान रहा। इसकी वृद्धि स्थिर भाव पर क्रमश: 11.93 प्रतिशत एवं 8.39 प्रतिशत रही।
मध्यप्रदेश सरकार द्वारा वर्ष 2025 को "उद्योग वर्ष’’ घोषित किया गया है। वित्तीय वर्ष 2024-25 में द्वितीयक क्षेत्र में 2.73 लाख करोड़ रूपए के सकल मूल्य वर्धन तक पहुंच गया। राज्य में औद्योगिक क्षेत्र में बुनियादी ढॉचे के विकास कार्यो के लिए वर्ष 2024-25 में 145.13 करोड़ रूपए स्वीकृत किए गए तथा दिसम्बर 2024 तक 4.17 लाख करोड़ के निवेश प्रस्ताव प्राप्त हुए।
राज्य में सामाजिक क्षेत्र के लिए महत्वपूर्ण बजटीय आवंटन किये गये है जिसमें पिछले चार वर्षो में 82.52 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। सरकार ने समस्त बाल विकास को प्राथमिकता देते हुये राज्य के कुल बजट का 21.6 प्रतिशत बजट आवंटित किया है।
स्वास्थ्य क्षेत्र में राज्य का बजट वर्ष 2024-25 में 15744 करोड़ रूपए तक पहुंच गया है। आयुष्मान भारत योजना के तहत 4.85 करोड़ से अधिक कार्ड जारी किए गए। वर्ष 2024-25 में शिक्षा का बजट 11.26 प्रतिशत आवंटित किया गया।
राज्य अधिसूचित वन क्षेत्र 94.69 हजार वर्ग किलोमीटर तथा वनावरण 77.07 हजार वर्ग कि.मी. क्षेत्रफल के साथ अग्रणी स्थिति पर है। राज्य में वर्ष 2023-24 में खनिज उत्पादन मूल्य पिछले वर्ष की तुलना में 16.71 प्रतिशत अधिक रहा है। माइनिंग कान्क्लेव 2024 में 19250 करोड़ के निवेश प्रस्ताव प्राप्त हुए हैं।
राज्य सरकार ने वर्ष 2024-25 में विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग को 472.28 करोड़ का बजट आवंटित किया। राज्य में 10 आई.टी.पार्क एवं 4 आई.टी SEZ विकसित किए गए। राज्य में 4895 से अधिक मान्यता प्राप्त स्टार्ट-अप कार्यरत है।
Updated on:
31 Oct 2025 02:24 pm
Published on:
11 Mar 2025 09:52 pm
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