भोपाल

टीचर्स की ‘मेडिकल लीव’ के लिए आया नया नियम, दिशा-निर्देश जारी

UGC Guidelines: मेडिकल लीव के लिए एमबीबीएस डॉक्टर द्वारा जारी प्रमाणपत्र अनिवार्य होगा, जिसमें बीमारी और संभावित अवधि का उल्लेख किया जाएगा।

less than 1 minute read
Jan 10, 2025
UGC Guidelines

UGC Guidelines: विश्वविद्यालयों के शिक्षकों के लिए यूजीसी रेग्यूलेशन 2025 के नए दिशा-निर्देश चर्चा का विषय बन गए हैं। पहली बार शिक्षकों के लिए सामान्य कर्तव्यों के तहत विशेष नियम लागू किए गए हैं। इसके तहत यदि शिक्षक बीमारी के नाम पर बार-बार छुट्टी लेते हैं, तो उन्हें पंजीकृत मेडिकल अथॉरिटी से शारीरिक जांच करवानी होगी।

जांच के आधार पर तय होगा कि वे ड्यूटी के लिए फिट हैं या नहीं। इतना ही नहीं शिक्षक स्वीकृत अवकाश की अवधि के तुरंत बाद ड्यूटी पर काम शुरू करना होगा।

बंद कर दी गई लीव

यदि कोई ऐसा नहीं करता है तो यह कदाचार के रूप में माना जाएगा और वेतन भी काटा जा सकता है। इस संबंध में बरकउल्ला यूनिवर्सिटी यूआइटी के डायरेक्टर प्रो. नीरज गौर का कहना है कि यूजीसी ने पूर्व में असिस्टेंट प्रोफेसर स्टडी लीव के नाम पर दो साल तक ही छुट्टी ले सकते हैं।

यह छुट्टियां पीएचडी या अन्य कोर्स के लिए दी जातीं थी, लेकिन अब इसे बंद कर दिया है। वहीं प्रो. विपिन व्यास का कहना है कि यह नियम पहले से ही हैं। यूजीसी के दिशा-निर्देश के बाद इन पर और सख्त हो सकती है।


यह हैं नियम

मेडिकल लीव के लिए एमबीबीएस डॉक्टर द्वारा जारी प्रमाणपत्र अनिवार्य होगा, जिसमें बीमारी और संभावित अवधि का उल्लेख किया जाएगा। छुट्टी के बाद शिक्षक को फिटनेस सर्टिफिकेट भी देना होगा।

अनुरोध पर ही छुट्टी

शिक्षक की छुट्टी केवल उनके अनुरोध और सहमति पर ही मंजूर की जाएगी। छुट्टी के दौरान किसी अन्य कार्य या व्यवसाय में शामिल होने की अनुमति नहीं होगी।

Published on:
10 Jan 2025 10:56 am
Also Read
View All

अगली खबर