जीएसटी दर कम होने से हाउसहोल्ड चीजों के दाम घट गए हैं। लेकिन दुकानदार पुराने स्टॉक के नाम पर ज्यादा कीमत वसूल सकते हैं। ऐसे में ग्राहक को जागरूक रहने की जरूरत है।
अगर आपको कोई दुकानदार घरेलू सामान के रेट पर जीएसटी घटने का फायदा न दे तो आप इसकी आसानी से शिकायत कर सकते हैं। साथ ही यह भी पता लगा सकते हैं कि उस प्रोडक्ट पर जीएसटी घटने से असल कीमत में कितनी कमी आई है। यहां कुछ तरीके बताए जा रहे हैं, जिससे जीएसटी से जुड़े हर सवाल का जवाब मिलेगा।
नई व्यवस्था में केवल दो टैक्स स्लैब रह गए हैं-5% और 18%। अगर किसी प्रोडक्ट पर टैक्स कम हुआ है, तो उसकी एमआरपी भी कम होनी चाहिए और आपको उसी हिसाब से कम दाम चुकाने का अधिकार है।
2.खरीदारी से पहले क्या चेक करना चाहिए?
3. नई जीएसटी दरें कैसे पता करें?
जिन उत्पाद पर 5% और 18% जीएसटी लागू हुआ है। उसकी लिस्ट जीएसटी पोर्टल पर दी गई है। वहां से चेक कर सकते हैं।
4. अगर दुकानदार पुरानी कीमत पर ही सामान बेच रहा है तो क्या करें?
अगर दुकानदार ऐसा करे तो INGRAM पर शिकायत दर्ज करा सकते हैं। शिकायत के साथ प्रोडक्ट पैकेज और बिल की फोटो/कॉपी जरूर रखें।
5. बिल में क्या देखना चाहिए?
बिल में लिखा जीएसटी का प्रतिशत चेक करें। यह नई कम दर (5% या 18%) से मेल खानी चाहिए।
6. क्या दुकानदार पुरानी कीमत काटकर नया एमआरपी लिख सकता है?
नहीं। नियम के मुताबिक पुरानी कीमत साफ दिखाई देनी चाहिए। उसे ढंकना या ओवरराइट करना गलत है।
इंटिग्रेटेड ग्रीवांस रीड्रेसेल मिकेनिज्म (INGRAM) कंज्यूमर अफेयर्स मंत्रालय की पहल है, जहां ग्राहक अपनी शिकायत दर्ज कर सकते हैं।