जल्द ही कई और प्रोजेक्ट्स में नजर आने वाले हैं। इनमें सिविल लाइंस, नौसिखिए, बहरूपिया, टपक, मिट्टी, हिट 03 (साउथ की तेलगु फिल्म), और 10 दिन का अनशन जैसी फिल्में और वेब सीरीज शामिल हैं।
कला और कलाकार दोनों ही एक दूसरे के बिना अधूरे हैं। जहां कुछ लोग कुदरती प्रतिभाशाली होते हैं, वहीं कुछ लगातार मेहनत और प्रयास से खुद को साबित करते हैं। ऐसी ही प्रेरणादायक कहानी छतरपुर शहर के प्रांजल पटेरिया की है, जो अपनी कला और सरल स्वभाव की दम पर आज बड़े पर्दे पर अपनी पहचान बना चुके हैं। प्रांजल का सफर कला के क्षेत्र में न केवल छतरपुर बल्कि पूरे बुंदेलखंड के लिए गर्व की बात बन चुका है।
हाल ही में प्रांजल ने सोनम नायर के निर्देशन में बनी वेब सीरीज दुपहिया में एक सरप्राइजिंग किरदार निभाया। यह सीरीज 7 मार्च को ओटीटी प्लेटफॉर्म अमेजन प्राइम पर रिलीज हुई है, जिसमें कुल 9 एपिसोड हैं। सीरीज एक सामान्य परिवार की कहानी पर आधारित है, जो अपनी छोटी-छोटी चीजों से बहुत जुड़ा होता है, और जब ये चीजें खो जाती हैं तो उस परिवार के लिए यह कितना कठिन हो जाता है। इस कहानी में खुशी, दु:ख, और जीवन के अहम पहलू उजागर होते हैं। फिल्म के राइटर और क्रियेटर अविनाश द्विवेदी और चिराग गर्ग हैं। इसके पहले प्रांजल पटेरिया लापता लेडीज फिल्म में भी अपनी कला का लोहा मना चुके हैं। इस फिल्म को भारत की तरफ से ऑस्कर अवार्ड के लिए नोमिनेट किया गया था, और प्रांजल की एक्टिंग ने दर्शकों और आलोचकों दोनों का दिल जीता था।
प्रांजल ने दुपहिया वेब सीरीज में पिंटू भैया का किरदार निभाया है, जो कहानी में एक नया आयाम जोड़ता है। यह किरदार पांचवे एपिसोड में आता है और पूरी सीरीज में एक सरप्राइज की तरह सामने आता है। प्रांजल ने बताया कि उनका किरदार कहानी को एक अलग दिशा में ले जाता है और इसके साथ-साथ अभिनय में भी नई ऊंचाई दिखाई देती है। उन्होंने बताया कि हर किरदार के साथ उनकी एक्टिंग में और ज्यादा ग्रोथ हो रही है।
प्रांजल के फैंस के लिए अच्छी खबर है कि वह जल्द ही कई और प्रोजेक्ट्स में नजर आने वाले हैं। इनमें सिविल लाइंस, नौसिखिए, बहरूपिया, टपक, मिट्टी, हिट 03 (साउथ की तेलगु फिल्म), और 10 दिन का अनशन जैसी फिल्में और वेब सीरीज शामिल हैं। प्रांजल ने बताया कि वह इन प्रोजेक्ट्स में अलग-अलग प्रकार के किरदारों में नजर आएंगे, जो उनके अभिनय के विभिन्न पहलुओं को सामने लाएंगे।
प्रांजल ने अपनी शुरुआत 2013 में शिवेन्द्र शुक्ला के मार्गदर्शन में रंगमंच से की थी। इसके बाद उन्होंने राजामानसिंह संगीत विश्वविद्यालय, ग्वालियर से रंगमंच में स्नातक की डिग्री प्राप्त की। रंगमंच ने उन्हें अभिनय की बारीकियों को समझने और बेहतर अभिनेता बनने में मदद की, जो आज उन्हें बॉलीवुड और साउथ इंडियन फिल्मों में काम करने का अवसर दे रही है। प्रांजल की मेहनत और कला के प्रति उनका समर्पण आज उन्हें एक उभरते हुए अभिनेता के रूप में सामने ला रहा है। उनका सफर यह साबित करता है कि यदि व्यक्ति मेहनत और लगन से काम करता है, तो वह किसी भी क्षेत्र में सफलता प्राप्त कर सकता है।