गरीबों का खाद्यान्न छीनने वाले अपात्र लाभार्थियों के खिलाफ रसद विभाग के चलाए जा रहे ‘गिव अप अभियान’ के तहत जिले भर में अभी 1298 राशन कार्ड धारकों के 5451 लागों ने स्वेच्छा से गिव-अप योजना में आवेदन कर अपना नाम पृथक करा लिए हैं। इन राशनकार्ड धारकों में से 1122 धारकों के राशनकार्ड वेरिफिकेशन कर बंद भी किए जा चुके हैं। तो वहीं विभाग ने योजना की अंतिम तिथि को बढ़ाकर अब 30 जून कर दिया है।
-वेरिफिकेशन कर 1122 धारकों के राशन कार्ड किए बंद
-अंतिम तिथि अब 30 जून, उसके बाद विभाग करेगा कार्रवाई
-305 अपात्रों को रसद विभाग ने थमाया नोटिस, हटवाएं अपने नाम
धौलपुर. गरीबों का खाद्यान्न छीनने वाले अपात्र लाभार्थियों के खिलाफ रसद विभाग के चलाए जा रहे ‘गिव अप अभियान’ के तहत जिले भर में अभी 1298 राशन कार्ड धारकों के 5451 लागों ने स्वेच्छा से गिव-अप योजना में आवेदन कर अपना नाम पृथक करा लिए हैं। इन राशनकार्ड धारकों में से 1122 धारकों के राशनकार्ड वेरिफिकेशन कर बंद भी किए जा चुके हैं। तो वहीं विभाग ने योजना की अंतिम तिथि को बढ़ाकर अब 30 जून कर दिया है।
राज्य सहित जिले में खाद्य सुरक्षा योजना खाद्य सब्सिडी से अपात्र लोगों को नाम हटाने के लिए गिव अप अभियान चलाया जा रहा है, इस अभियान के तहत अपात्र व्यक्तियों को स्वेच्छा से योजना से नाम हटाने का मौका दिया जा रहा है। योजना के तहत अभी तक जिले भर में 1298 राशन कार्ड धारकों के 5441 लोगों ने स्वेच्छा से अपना नाम कटवा लिया है। जिले के लगभग 6 हजार से ज्यादा लोग योजना का लाभ ले रहे थे। जिनमें से कोई आयकर दाता है तो कोई चार पहिया वाहन का मालिक तो किसी की इनकर 1 लाख रुपए तक है। तो वहीं सरकार ने अब इस अभियान की अंतिम तिथि को भी बढ़ाकर 30 जून कर दिया है। रसद विभाग ने 305 ऐसे अपात्रों को नोटिस भी जारी किए हैं जो पात्रता के अधिकार नहीं है। अब अगर ऐसे में यह लोग 30 जून तक अपना नाम स्वेच्छा से नहीं हटवाते हैं तो विभाग इनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई करेगा।
तो 27 रुपए प्रति किलो हिसाब से वसूली
रसद विभाग की सख्त के बाद और आमजन में जागरूकता बढऩे से योजना से जुड़े सक्षम व्यक्ति अपना नाम अब खुद हटाने के लिए आगे आ रहे हैं। अभियान की महत्ता समझते हुए अपात्र परिवारों ने अपना आवेदन पत्र कार्यालय में जमा करवा रहे हैं। अभी तक 5441 लोग अपना नाम योजना से हटवा चुके हैं। रसद विभाग के अनुसार 30 जून तक यदि सक्षम व्यक्ति अपना नाम योजना से नहीं हटवाते हैं तो कानूनी कार्रवाई कर उपभोग किए गए गेंहू की 27 रुपए प्रति किलो के हिसाब से वसूली की जाएगी।
यह माने जाएंगे योजना के लिए अपात्र
ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्र के लिए आयकर दाता, सरकारी व अद्र्ध सरकारी कार्मिकों एवं पेंशनर, एक लाख से अधिक वार्षिक आय वाले, निजी चार पहिया वाहन धारक, नगर निगम क्षेत्र में 1000 वर्गफीट, नगर पालिका क्षेत्र में 1500 वर्गफीट तथा ग्रामीण क्षेत्र में 2000 वर्गफीट से अधिक बड़ा पक्का आवासीय/व्यवसायिक परिसर धारक एवं निर्धारित सीमा से अधिक कृषि भूमि धारक परिवार राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजना के निष्कासन की श्रेणी में आते हैं और इस योजना के लिए अपात्र हैं। जिन्हें स्वेच्छा के साथ योजना से जुडकऱ अपना नाम पृथक करवा लेना चाहिए।
ऐसे हटवा सकते हैं अपना नाम
योजना से नाम हटाने के लिए संबंधित व्यक्ति को अपनी उचित मूल्य दुकान या जिला रसद कार्यालय पर जाकर निर्धारित फार्म भरना होगा अथवा विभाग के पोर्टल पर ऑनलाइन आवेदन कर लाभ का त्याग कर सकते हंै। इस प्रक्रिया के तहत उन्हें यह घोषणा करनी होगी कि वे राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजनान्तर्गत आने के लिए अयोग्य है और स्वेच्छा से योजना से बाहर हो रहे है। स्वेच्छा से नाम हटवाने पर कोई वसूली नहीं की जाएगी।
गिव अप अभियान की अंतिम तारीख अब 30 जून कर दी गई है। इस दौरान अपात्र लोग योजना से अपना नाम हटवा सकते हैं। विभाग ने 305 अपात्रों को नोटिस भी जारी किया है। अंतिम तिथि तक नाम नहीं हटाने पर कार्रवाई की जाएगी।
- कल्याण सहाय, जिला रसद अधिकारी धौलपुर