स्वास्थ्य

कैसे होता है स्पाइनल फ्लूइड लीक का इलाज, कब पड़ती है एपिड्यूरल ब्लड पैच की जरूरत, जानें आप

सैफ अली खान को अस्पताल से छुट्टी मिल गई है। मीडिया में सामने आया था कि सैफ का स्पाइनल फ्लूइड (Spinal Fluid) लीक हुआ था। ऐसे में जानते हैं कैसे होता है स्पाइनल फ्लूइड लीक का इलाज, कब पड़ती है एपिड्यूरल ब्लड पैच की जरूरत।

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Spinal Fluid: जब से उन पर हमला हुआ है सैफ अली खान इस समय सुर्खियों में बने हुए है। मीडिया में बात आई थी कि सैफ की रीढ़ की हड्डी में ब्लेड घुसा और उसे सर्जरी के माध्यम से बाहर निकाल दिया गया था। खबरे ये भी आई थी कि फ का स्पाइनल फ्लूइड (Spinal Fluid) लीक हुआ था। लेकिन ट्रीटमेंट के बाद इसे ठीक कर दिया गया था। ऐसे में आज हम जानेंगे की स्पाइनल फ्लूइड लीक का इलाज कैसे होता है। इसकी जरूरत कब पड़ती है। कितेन समय में मरीज को इससे आराम मिल जाता है।

कब पड़ती है एपिड्यूरल ब्लड पैच की जरूरत

एपिड्यूरल ब्लड पैच मेडिकल प्रोसेस हेाती है। इसका उपायोग मस्तिष्कमेरु द्रव के रिसाव से पैदा होने वाली समस्याओं को ठीक करने के लिए किया जाता है। इसका उपयोग स्पाइनल टेप (Lumbar Puncture), एपिड्यूरल एनेस्थीसिया या किसी अन्य रीढ़ से संबंधित प्रक्रिया के बाद सिरदर्द या अन्य लक्षणों का अनुभव होता है उनके लिए यह प्रक्रिया दी जाती है।

क्या है एपिड्यूरल ब्लड पैच : What is an epidural blood patch?

पिड्यूरल ब्लड पैच यानि ईबीपी एक प्रोसेस होता है। डॉक्टर इसमें आपके ब्लड की थोड़ी मात्रा को आपकी रीढ़ की हड्डी के पास एपिड्यूरल स्पेस में इंजेक्ट करता है ताकि सेरेब्रोस्पाइनल फ्लूइड लीक यानी मस्तिष्कमेरु द्रव रिसाव को रोका जा सके।

एपिड्यूरल ब्लड पैच प्रक्रिया के लाभ

ईबीपी सामान्यतः तात्कालिक और दीर्घकालिक स्पाइनल दर्द से राहत प्रदान करते हैं, जबकि अन्य उपचार, जैसे एनएसएआईडी और कैफीन, आमतौर पर अस्थायी प्रभाव डालते हैं।

साइड इफेक्ट एपिड्यूरल ब्लड पैच के

ईबीपी के सामान्य साइड इफेक्ट में प्रक्रिया के बाद इंजेक्शन स्थल के आस-पास दर्द या असुविधा शामिल है। यह आमतौर पर प्रक्रिया के कुछ दिनों के भीतर ठीक हो जाता है।

ब्लड पैच की सफलता पर अध्ययन मानना : Spinal Fluid

अध्ययनों के अनुसार, एपिड्यूरल ब्लड पैच की सफलता दर लगभग 85 प्रतिशत है। इसका अर्थ यह है कि 100 में से लगभग 85 मामलों में स्पाइनल हेडेक से राहत प्राप्त होती है।

डिसक्लेमरः इस लेख में दी गई जानकारी का उद्देश्य केवल रोगों और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के प्रति जागरूकता लाना है। यह किसी क्वालीफाइड मेडिकल ऑपिनियन का विकल्प नहीं है। इसलिए पाठकों को सलाह दी जाती है कि वह कोई भी दवा, उपचार या नुस्खे को अपनी मर्जी से ना आजमाएं बल्कि इस बारे में उस चिकित्सा पैथी से संबंधित एक्सपर्ट या डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें।

Updated on:
24 Jan 2025 10:38 am
Published on:
24 Jan 2025 10:37 am
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