जयपुर

Good News: जिसके पास छत नहीं, उसे भी सोलर बिजली, जानिए राजस्थान सरकार का नया मास्टर प्लान

Solar Energy Policy Rajasthan: राजस्थान में अब बिना छत वाले उपभोक्ता भी लेंगे सस्ती सोलर बिजली का लाभ। सौर ऊर्जा की नई शुरुआत: वर्चुअल और ग्रुप नेट मीटरिंग व्यवस्था लागू।

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Dec 31, 2025
पत्रिका फोटो

Virtual Net Metering: जयपुर. मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की पहल पर राजस्थान में सौर ऊर्जा को आम उपभोक्ताओं तक पहुंचाने की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम उठाया गया है। प्रदेश में पहली बार वर्चुअल नेट मीटरिंग और ग्रुप नेट मीटरिंग व्यवस्था को प्रभावी रूप से लागू कर दिया गया है। राजस्थान डिस्कॉम्स ने इसके क्रियान्वयन के लिए दिशा-निर्देश जारी कर दिए हैं। यह व्यवस्था राजस्थान विद्युत नियामक आयोग द्वारा अधिसूचित ग्रिड इंटरएक्टिव डिस्ट्रिब्यूटेड रिन्यूएबल एनर्जी सिस्टम्स तृतीय संशोधन विनियम-2025 के तहत लागू की गई है।

सस्ती और स्वच्छ ऊर्जा का लाभ

इस नई व्यवस्था से उन उपभोक्ताओं को सबसे अधिक लाभ मिलेगा, जिनके पास अपनी छत उपलब्ध नहीं है। मल्टी स्टोरी अपार्टमेंट में रहने वाले लोग, गांव-ढाणी के निवासी, सरकारी व निजी कार्यालय, लघु एवं मध्यम उद्योग, बड़े औद्योगिक उपभोक्ता और एक से अधिक परिसरों वाले संस्थान अब सौर ऊर्जा से जुड़ सकेंगे। अब तक छत की अनुपलब्धता के कारण जो उपभोक्ता सोलर संयंत्र नहीं लगा पाते थे, वे भी सस्ती और स्वच्छ ऊर्जा का लाभ ले सकेंगे।

डिस्कॉम्स द्वारा सोलर परियोजनाओं की स्वीकृति प्रक्रिया को भी सरल बनाया गया है। 10 किलोवाट तक की घरेलू सोलर परियोजनाओं को बिना तकनीकी अध्ययन के स्वीकृत माना जाएगा। इससे अधिक क्षमता की परियोजनाओं के लिए तकनीकी अध्ययन की समय-सीमा मौजूदा उपभोक्ताओं के लिए 15 दिन और नए कनेक्शन के लिए 30 दिन तय की गई है। सोलर संयंत्र अब रूफटॉप के अलावा बालकनी, खाली भूमि, सार्वजनिक भूमि और जलाशयों पर भी लगाए जा सकेंगे।

उपभोक्ताओं को भी कई शुल्कों में मिलेगी राहत

इस व्यवस्था के तहत घरेलू उपभोक्ताओं को व्हीलिंग चार्ज, बैंकिंग चार्ज और क्रॉस सब्सिडी सरचार्ज से पूरी तरह छूट दी गई है। अन्य श्रेणी के उपभोक्ताओं को भी कई शुल्कों में राहत मिलेगी। बैटरी एनर्जी स्टोरेज से जुड़ी परियोजनाओं को अतिरिक्त प्रोत्साहन प्रदान किया जाएगा, जिससे ऊर्जा भंडारण को बढ़ावा मिलेगा।

सरकार का मानना है कि वर्चुअल और ग्रुप नेट मीटरिंग से प्रदेश में सौर ऊर्जा का उपयोग बढ़ेगा, बिजली बिल में बचत होगी, कार्बन उत्सर्जन कम होगा और नेट जीरो लक्ष्य की दिशा में राजस्थान की प्रतिबद्धता और मजबूत होगी।


क्या है वर्चुअल नेट मीटरिंग

एक स्थान पर लगाए गए सोलर संयंत्र से उत्पन्न बिजली को उसी डिस्कॉम क्षेत्र के कई उपभोक्ताओं के बिजली बिल में समायोजित किया जा सकता है, भले ही उनके पास अपनी छत न हो।

क्या है ग्रुप नेट मीटरिंग

एक उपभोक्ता द्वारा लगाए गए सोलर संयंत्र से बनी बिजली को उसके अलग-अलग स्थानों पर मौजूद बिजली कनेक्शनों में उपयोग किया जा सकता है।

उपभोक्ताओं को प्रमुख लाभ


बिजली बिल में बड़ी बचत
घरेलू उपभोक्ताओं को सभी प्रमुख शुल्कों से छूट
सौर ऊर्जा को बढ़ावा और पर्यावरण संरक्षण


Published on:
31 Dec 2025 03:46 pm
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