जयपुर

Flat Owners Rights: राजस्थान के हजारों फ्लैट मालिक अब भी जमीन के हक से वंचित, जानें क्यों ?

Urban Development: जमीन बिल्डरों के नाम, रि-डवलपमेंट और लोन पर संकट गहराया। राज्य स्तरीय कमेटी नहीं बनी, पुराने अपार्टमेंटों की फाइलें सालों से अटकी।

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Nov 17, 2025
प्रतीकात्मक तस्वीर (Photo- IANS)

Aapartment Ownership: जयपुर. राजस्थान में अपार्टमेंट ऑनरशिप एक्ट लागू हुए वर्षों बीत चुके हैं, लेकिन आज भी हजारों फ्लैटधारक जमीन पर अपने मालिकाना हक से वंचित हैं। एक्ट में स्पष्ट प्रावधान है कि पुराने अपार्टमेंटों के खरीदारों को भी उनके फ्लैट एरिया के अनुपात में जमीन की हिस्सेदारी दी जानी चाहिए, परंतु वास्तविकता यह है कि जयपुर, कोटा, अलवर और उदयपुर जैसे प्रमुख शहरों में अधिकांश अपार्टमेंट की जमीन अब भी बिल्डरों या सोसायटियों के नाम दर्ज है।

इससे फ्लैट मालिकों को न बैंक लोन आसानी से मिल पाता है और न ही पुरानी इमारतों का रि-डवलपमेंट शुरू हो पाता है।

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स्थिति इसलिए अधिक गंभीर है क्योंकि एक्ट में विवाद निवारण के लिए प्रस्तावित रा’य स्तरीय कमेटी का गठन अब तक नहीं हुआ। इसके चलते मालिक के लिए कोई स्पष्ट प्लेटफॉर्म उपलब्ध नहीं है जहां वे अपनी शिकायतों की सुनवाई करा सकें। कई अपार्टमेंट इतने पुराने हो चुके हैं कि मरम्मत की स्थिति में भी नहीं हैं, लेकिन जमीन का मालिकाना हक स्पष्ट न होने से सोसायटियों की फाइलें वर्षों से लंबित पड़ी हैं।

विशेषज्ञों का मानना है कि समस्या का समाधान तभी संभव है जब जमीन ट्रांसफर की एक समान प्रक्रिया लागू की जाए, रा’य स्तरीय कमेटी का गठन किया जाए और सोसायटियों की जवाबदेही तय हो ताकि हर फ्लैटधारक को उसका वैधानिक अधिकार मिल सके।

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Published on:
17 Nov 2025 12:07 pm
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