Rajasthan Politics: इस बार सचिन पायलट के जन्मदिन पर उठी मुख्यमंत्री पद की मांग के सवाल पर पीसीसी चिफ गोविंद सिंह डोटासरा ने बड़ा रोचक जवाब दिया है।
Rajasthan Politics: राजस्थान में कांग्रेस की आंतरिक राजनीति को लेकर मीडिया में लगातार सुर्खियां बनी रहती है। इस बार सचिन पायलट के जन्मदिन पर उठी मुख्यमंत्री पद की मांग के सवाल पर पीसीसी चिफ गोविंद सिंह डोटासरा ने बड़ा रोचक जवाब दिया है। उन्होंने कहा कि पायलट को सीएम बनाने का फैसला उनका नहीं, बल्कि पार्टी हाईकमान का है। इस दौरान डोटासरा ने बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों की अनदेखी, आरएसएस का दखल और लोकतंत्र पर संकट को लेकर भाजपा सरकार पर निशाना साधा।
दरअसल, बुधवार को कोटा में कांग्रेस के प्रदर्शन में शामिल होने के लिए जाते समय डोटासरा ने टोंक में मीडिया से बातचीत की। इस दौरान उनसे सवाल पूछा गया कि क्या इस बार कांग्रेस को बहुमत आने पर मुख्यमंत्री बनाया जाएगा? इसके जवाब में डोटासरा ने कहा कि मुख्यमंत्री बनाने का काम मेरा नहीं है, ये हाईकमान तय करेगा।
उन्होंने हाथ जोड़ते हुए कि यह फैसला न तो उनका है और न ही मीडिया का। बताते चलें कि जन्मदिन के दिन सचिन पायलट के हालिया मेवाड़ दौरे पर सीएम बनाने की मांग उठी थी। बता दें, पिछली बार 2023 के विधानसभा चुनाव के बाद अशोक गहलोत और सचिन पायलट के बीच मुख्यमंत्री पद को लेकर भारी खींचतान हुई थी। पायलट को उपमुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देना पड़ा था, जिसके बाद पार्टी में सुलह हुई।
वहीं, राजस्थान में मंत्रीमंडल फेरबदल को लेकर भी डोटासरा ने इशारा किया। उन्होंने कहा कि सभी को बदलाव का इंतजार है, खासकर शिक्षा मंत्री के पद पर। कब होगा बदलाव? और शिक्षा मंत्री कब बदलेगा? उन्होंने कहा कि यह सवाल प्रदेश की राजनीति में अंदरखाने चल रहा है। भाजपा सरकार पर निशाना साधते हुए डोटासरा ने कहा कि ट्रांसफर-पोस्टिंग की लिस्ट में आरएसएस का दखल साफ दिख रहा है।ॉ
डोटसरा ने कहा कि आरएसएस कभी चुनाव नहीं लड़ता, लेकिन सत्ता जब भाजपा की आती है तो वह सत्ता चलाता है। ये हमारा दुर्भाग्य है। उन्होंने बाढ़ को लेकर कहा कि प्रदेश में अतिवृष्टि से बाढ़ जैसे हालात हैं। लोगों की जानें गईं, किसानों की फसलें बर्बाद हो गईं, गरीबों के घर-मकान ढह गए, लेकिन सरकार ने कोई सहायता नहीं दी। हेलिकॉप्टर से एक-दो मंत्रियों को घुमाकर इतिश्री कर ली। डोटासरा ने मुख्यमंत्री से सवाल उठाया कि बाढ़ प्रभावित इलाकों का दौरा क्यों नहीं किया गया?
इस दौरान मुख्यमंत्री के 'मगरमच्छ' वाले बयान पर डोटासरा ने तंज कसा। डोटासरा ने चुटकी लेते हुए कहा कि सीएम ने 'एक पेड़ मां के नाम' कार्यक्रम के दौरान टोडारायसिंह में कहा था कि मगरमच्छ कब पकड़ेंगे, तो पूर्व सीएम अशोक गहलोत के पीएसओ को गिरफ्तार कर लिया। इस पर डोटासरा ने पलटवार करते हुए कहा कि कब पकड़े जाएंगे? मैं तो घूम ही रहा हूं। पर्ची बदल जाएगी, उसके बाद बड़े मगरमच्छ पकड़ोगे क्या?
डोटासरा ने विधानसभा अध्यक्ष वासुदेव देवनानी पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि नेता प्रतिपक्ष को धमकाकर बैठा दिया जाता है। विपक्ष के लिए अलग कानून, पक्ष के लिए अलग। अध्यक्ष एकतरफा काम कर रहे हैं, लोकतंत्र को खत्म करने का प्रयास हो रहा है। उन्होंने विधानसभा में कैमरे लगाकर विपक्ष की जासूसी का आरोप लगाया। निकाय और पंचायत चुनाव न कराने पर भी सरकार को कोसा। 5 साल से चुनाव कराने का संवैधानिक प्रावधान है, लेकिन ये मान ही नहीं रहे। जनता आक्रोशित है, इनको मंत्री-मुख्यमंत्री नहीं मान रही।