जैसलमेर. सरहदी जैसलमेर जिले का डांगरी गांव में गुरुवार को तनाव और आक्रोश का माहौल देखने को मिला।
जैसलमेर. सरहदी जैसलमेर जिले का डांगरी गांव में गुरुवार को तनाव और आक्रोश का माहौल देखने को मिला। किसान खेतसिंह की हत्या के बाद ग्रामीणों का गुस्सा चरम पर दिखा। गौरतलब है कि हिरण का शिकार रोकने वाले किसान को बदमाशों ने पहले बेरहमी से पीटा और बाद में उसकी जान ले ली। इस घटना ने पूरे क्षेत्र को झकझोर कर रख दिया। हत्या के बाद डांगरी गांव में तनाव की स्थिति बन गई। बुधवार को पूरा बाजार बंद रहा। शाम होते ही गुस्साई भीड़ ने टायर–ट्यूब की एक दुकान में आग लगा दी। लपटों ने पास की तीन अन्य दुकानों को भी अपनी चपेट में ले लिया। बुधवार देर रात आरोपियों के डंपर को भी आग के हवाले कर दिया गया। माहौल बिगड़ने पर जिला कलेक्टर प्रतापसिंह और पुलिस अधीक्षक अभिषेक शिवहरे मौके पर पहुंचे। गुरुवार को गांव में भीड़ लगातार बढ़ती जा रही थी। भाजपा नेता स्वरूप सिंह और अन्य नेताओं के आह्वान पर बड़ी संख्या में लोग डांगरी गांव से दो किलोमीटर दूर जमा हो गए। टेंट लगाकर धरना शुरू किया गया। धरने में भाजपा जिलाध्यक्ष दलपतराम मेघवाल, पूर्व विधायक सांगसिंह भाटी और कई नेता पहुंचे। आरोपियों के मकान और अतिक्रमण हटाने की मांग को लेकर प्रशासन को अल्टीमेटम दिया गया। इस दौरान आरोपियों के घर तोड़ने के लिए जेसीबी मंगाई गई।
स्थिति बेकाबू होते देख पुलिस बल ने भीड़ को तितर–बितर करने के लिए हल्का बल प्रयोग किया। आक्रोशित लोगों ने पुलिस पर पथराव कर दिया और वाहनों को निशाना बनाया। हालात संभालने के लिए पुलिस को आंसू गैस के गोले दागने पड़े और बल प्रयोग करना पड़ा। प्रशासन ने गांव में बैरिकेडिंग कर दी और लोगों से घरों में ही रहने की अपील की। उधर हत्या के मामले में केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने दु:ख व्यक्त करते हुए कहा कि लोकतांत्रिक समाज में ऐसी घटनाओं का कोई स्थान नहीं है। दोषियों को किसी भी हाल में बख्शा नहीं जाएगा और पीड़ित परिवार को न्याय दिलाया जाएगा।
हत्या के विरोध में डांगरी गांव और बाड़मेर अस्पताल दोनों जगह गुस्से का माहौल बना हुआ है। परिजन और समाजजन लगातार धरने पर डटे हैं। दूसरे दिन भी शव नहीं उठाया गया। सभी की मांग है कि आरोपियों को सख्त से सख्त सजा दी जाए और उनके मकान व अवैध अतिक्रमण तुरंत तोड़े जाएं। गौरतलब है कि खेतसिंह अपने परिवार के साथ सुमेलनगर में रहते थे। उनके परिवार में पत्नी, एक बेटी और तीन बेटे हैं। परिवार के भविष्य को लेकर ग्रामीण गहरी चिंता जता रहे हैं।
तनाव को देखते हुए गांव में भारी पुलिस बल तैनात कर दिया गया है। उधर, बाड़मेर में मृतक के परिजन अब भी आरोपियों पर कठोर कार्रवाई और अतिक्रमण हटाने की मांग पर अड़े हुए हैं।