सीमावर्ती जैसलमेर जिले में आगामी 20 मई तक इंदिरा गांधी नहर परियोजना में केवल पेयजल के लिए ही जलापूर्ति की जाएगी।
सीमावर्ती जैसलमेर जिले में आगामी 20 मई तक इंदिरा गांधी नहर परियोजना में केवल पेयजल के लिए ही जलापूर्ति की जाएगी। जैसलमेर संभाग के नहरी क्षेत्र के सभी काश्तकारों को इस संबंध में अवगत करवाया गया है। इस संबंध में गत 4 फरवरी को सिंचित क्षेत्र विकास बीकानेर के आयुक्त की तरफ से दिशा-निर्देश जारी किया गया था। जिसकी पालना में इंदिरा गांधी नहर परियोजना जैसलमेर के अतिरिक्त मुख्य अभियंता भगवानाराम विश्रोई ने नहरी किसानों को यह जानकारी दी। उन्होंने नहरी क्षेत्र के काश्तकारों से अपील की है कि वे नहरों में सिंचाई के लिए पानी की मांग को लेकर नहर के हेड पर एकत्रित न हों। आगामी 20 मई तक नहरों में प्रवाहित होने वाले जल का सिंचाई के लिए उपयोग नहीं किया जाए। इस पानी का भंडारण किसान अपने टांकों या पेयजल की डिग्गी में किया जा सकेगा, अन्यथा कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
एक तरफ नहर प्रशासन ने नहरों में प्रवाहित पानी का केवल पीने के लिए इस्तेमाल करने का निर्देश दिया है, दूसरी ओर नहरी क्षेत्र मोहनगढ़ के किसानों ने पिछले दिनों बैठक बुला कर रबी की फसलों को संकट से उबारने के लिए सिंचाई के लिए पानी की मांग उठाई थी। किसानों ने आरोप लगाया कि अधिकांश नहरों में 3 बारी और कुछ नहरों में 4 बारी का पानी नहीं मिला। उनका कहना है कि फरवरी और मार्च में पानी नहीं मिला तो की फसलें चौपट हो जाएंगी।
जैसलमेर संभाग की इंदिरा गांधी नहर परियोजना में गत 6 फरवरी से आगामी 20 मई तक की अवधि में प्रवाहित जल का इस्तेमाल पीने के लिए करने का निर्देश सिंचित क्षेत्र विकास के आयुक्त की तरफ से जारी किया गया है। भविष्य में संशोधित रेगुलेशन भी उन्हीं के स्तर से हो सकता है।