कोटा के मोड़क स्टेशन कस्बे के दशहरा मैदान के पास बना एनिकट बारिश से लबालब हो गया है, लेकिन पानी रोकने वाली दीवार में दरार से रिसाव जारी है। जनवरी में लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने सौंदर्यीकरण के लिए तीन करोड़ दिए थे, जिससे पाल और दीवार दुरुस्त की गई थी।
कोटा: मोड़क स्टेशन कस्बे के दशहरा मैदान के समीप बना एनिकट बरसात से लबालब हो चुका हैं। परंतु एनिकट पर पानी रोकने के लिए बनाई दीवार में दरार आने से पानी के रिसाव के चलते एनिकट गर्मी का मौसम आने से पहले ही खाली हो जाता है।
इस वर्ष जनवरी महीने में लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने तालाब के सौंदर्यीकरण के लिए तीन करोड़ का बजट दिया था। इस राशि से तालाब के चारों ओर पत्थर की पाल बनाई गई थी और पानी रोकने की दीवार को भी सही किया गया था।
उस समय दीवार को सही तरीके से दुरुस्त नहीं करने से पानी का रिसाव जारी था, जिसके चलते तालाब मार्च महीने में ही खाली हो गया। तालाब का सारा पानी व्यर्थ बहने से तालाब का लाभ आमजन को नहीं मिल पाया। इस वर्ष जून महीने में हुई बरसात से तालाब लबालब होकर झलक चुका हैं। परंतु पानी के रिसाव के चलते फिर से तालाब के खाली होने का खतरा मंडरा रहा है।
तालाब के चारों ओर घाट बन चुके हैं, परंतु तालाब के समीप खाली पड़ी भूमि पर अगर चौपाटी और पार्क बन जाए तो आमजन को घूमने और बच्चों को खेलने की जगह मिल जाएगी। चौपाटी बनने से आमजन को रोजगार भी मिलेगा। कस्बे के लोगों की लंबे समय से मांग है कि एनीकट पर चौपाटी बनाई जाए। ताकि एनीकट की सार सम्हाल तो होगी ही, साथ में लोगों को पार्क भी मिल जाएगा। पंचायत कोरम में चौपाटी बनाने का प्रस्ताव भी लिया हुआ है, परंतु चौपाटी का कार्य धरातल पर नहीं आया है।
एनीकट के पानी से समीप खेती करने वाले किसानों को गर्मी के मौसम में अपने कुओं का जलस्तर बढ़ाने में मदद मिलती है। गर्मी के मौसम में तालाब में पानी रीतने से कुओं का जलस्तर भी गिरता है, जिससे गर्मी के मौसम में खेतों में सिंचाई नहीं हो पाती है। एनिकट के रिसाव को रोक दिया जाए तो इसका पानी खत्म नहीं होगा। इससे किसानों को भी इसका लाभ मिलेगा।
इस संबंध में सरपंच प्रीति कुमारी ने बताया कि एनीकट की दीवार में हो रहे रिसाव के मामले को उच्च अधिकारियों को अवगत करवा दिया है। संवेदक ने घटिया कार्य किया है, जिसकी शिकायत भी दी है। शिक्षा मंत्री और लोकसभा अध्यक्ष को भी मामले से अवगत करवा दिया गया है।
एनीकट पर चौपाटी का निर्माण जल्द करवाया जाएगा। चौपाटी और पार्क निर्माण में राशि अधिक लगेगी, इसके लिए अलग से राशि के आवंटन करने के लिए उच्च अधिकारियों को पत्र लिखा हुआ है, राशि स्वीकृत होते ही निर्माण कार्य करवा दिया जाएगा।