लखनऊ

UP Government: उत्तर प्रदेश में शिक्षामित्रों और अनुदेशकों के मानदेय में वृद्धि: योगी सरकार का बड़ा कदम

Yogi Government: उत्तर प्रदेश सरकार शिक्षामित्रों और अनुदेशकों के वेतन में बढ़ोतरी की तैयारी कर रही है। इस फैसले से राज्य के 1.43 लाख शिक्षामित्र और 22,223 अनुदेशकों को लाभ मिलेगा। प्रस्ताव को मंजूरी के लिए कैबिनेट में भेजा जाएगा, जिससे वेतन ₹22,000 तक बढ़ सकता है और तीन वर्षों पर वेतन वृद्धि भी मिलेगी।

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Mar 08, 2025
Yogi Government

UP Government Decision: उत्तर प्रदेश सरकार ने राज्य के शिक्षामित्रों और अनुदेशकों के मानदेय में वृद्धि करने का निर्णय लिया है, जिससे लगभग 1.50 लाख शिक्षामित्र और 22,223 अनुदेशक लाभान्वित होंगे। इस कदम से राज्य के शिक्षा क्षेत्र में कार्यरत कर्मियों की आर्थिक स्थिति में सुधार होने की उम्मीद है।

वर्तमान मानदेय और प्रस्तावित वृद्धि

वर्तमान में, शिक्षामित्रों को प्रति माह ₹10,000 का मानदेय मिलता है, जबकि अनुदेशकों को ₹9,000 प्रति माह दिया जाता है। सरकार के नए प्रस्ताव के अनुसार, शिक्षामित्रों का मानदेय बढ़ाकर ₹17,000 से ₹20,000 प्रति माह किया जाएगा, जबकि अनुदेशकों का मानदेय ₹22,000 प्रति माह तक हो सकता है।

प्रस्ताव की तैयारी और मंजूरी की प्रक्रिया

उच्च स्तर पर सहमति बनने के बाद, इस प्रस्ताव को अंतिम रूप दिया जा रहा है। जल्द ही इसे मंजूरी के लिए कैबिनेट को भेजने की तैयारी है। वित्त विभाग ने इस संबंध में प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है, और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देशानुसार, न्यूनतम मजदूरी की दर से या उससे कम वेतन पाने वाले संवर्गों के कर्मियों को एक समान वेतन देने की योजना बनाई गई है।

वेतन वृद्धि के अतिरिक्त लाभ

वेतन वृद्धि के साथ ही, शिक्षामित्रों और अनुदेशकों को हर तीन वर्षों में वेतन वृद्धि की सुविधा भी प्रदान की जाएगी। इसके अलावा, शिक्षामित्रों को उनके मूल विद्यालयों में वापसी और अंतर-जनपदीय स्थानांतरण की सुविधा भी दी गई है, जिससे वे अपने गृह जनपद में कार्य कर सकेंगे।

अन्य राज्यों के वेतन संरचना का अध्ययन

सरकार ने इस प्रस्ताव को तैयार करने से पहले अन्य राज्यों के वेतन संरचना का भी अध्ययन किया है, ताकि उत्तर प्रदेश के शिक्षामित्रों और अनुदेशकों को उचित मानदेय दिया जा सके। इस कदम से राज्य के शिक्षा क्षेत्र में कार्यरत कर्मियों की आर्थिक स्थिति में सुधार होने की उम्मीद है।

संविदा कर्मियों के लिए भी राहत

प्रदेश के हजारों संविदा कर्मी लंबे समय से अपने मानदेय में वृद्धि की मांग कर रहे थे। यह प्रस्ताव उनकी मांगों को पूरा करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। शिक्षामित्रों, अनुदेशकों और दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों के लिए यह फैसला आर्थिक संबल प्रदान करेगा।

सरकार का उद्देश्य

सरकार का उद्देश्य कर्मचारियों की आर्थिक स्थिति में सुधार लाना और उन्हें बेहतर जीवन स्तर प्रदान करना है। यह कदम शिक्षा क्षेत्र में काम करने वाले लोगों के लिए एक बड़ी राहत लेकर आया है, जिससे वे अधिक उत्साह और समर्पण के साथ अपने कर्तव्यों का निर्वहन कर सकेंगे।

उत्तर प्रदेश सरकार का यह निर्णय राज्य के शिक्षा क्षेत्र में कार्यरत शिक्षामित्रों और अनुदेशकों के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है, जो उनकी आर्थिक स्थिति में सुधार लाएगा और उन्हें अपने कर्तव्यों का निर्वहन करने में अधिक सक्षम बनाएगा। उम्मीद है कि इस प्रस्तावित वेतन वृद्धि से राज्य की शिक्षा प्रणाली में सकारात्मक परिवर्तन आएंगे।

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