AIMIM on Samajwadi Party : एआईएमआईएम ने समाजवादी पार्टी (सपा) पर निशाना साधा है। पार्टी के प्रवक्ता ने कहा कि महाराष्ट्र में सपा भाजपा की बी-टीम की तरह काम कर रही है।
Maharashtra Local Body Elections: महाराष्ट्र में दो दिसंबर को 246 नगर परिषदों और 42 नगर पंचायतों में मतदान होना है। नामांकन प्रक्रिया पूरी हो चुकी है और अब सभी दल पूरे जोर के साथ मैदान में उतर चुके हैं। हर पार्टी अपनी जीत सुनिश्चित करने के लिए पूरी ताकत झोंक रही है। इसी बीच असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी एआईएमआईएम (AIMIM) के नेता वारिस पठान के बयान ने राजनीतिक गलियारों में नई हलचल पैदा कर दी है। पठान ने समाजवादी पार्टी (सपा) की महाराष्ट्र इकाई पर विश्वासघात करने का आरोप लगाया है।
महाराष्ट्र में निकाय चुनाव नजदीक आते ही आरोप-प्रत्यारोप की राजनीति तेज हो चुकी है। सपा के महाराष्ट्र के अध्यक्ष अबू आजमी ने हाल ही में कहा था कि उनकी पार्टी निकाय चुनाव में किसी भी दल के साथ गठबंधन नहीं करेगी। आजमी के इस बयान पर वारिस पठान ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। एआईएमआईएम नेता ने कहा कि महाराष्ट्र सपा की चाबी उत्तर प्रदेश में अखिलेश यादव के पास नहीं बल्कि यहीं मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के पास है।
वारिस पठान ने दावा किया कि अबू आजमी उतना ही करते हैं, जितना फडणवीस चाहते है। उन्होंने कहा कि फडणवीस जितनी सीटों पर लड़ने को कहेंगे, समाजवादी पार्टी महाराष्ट्र में उतनी ही सीटों पर उम्मीदवार उतारेगी। सब कुछ भाजपा के मुताबिक ही होगा।
एआईएमआईएम प्रवक्ता ने याद दिलाया कि विधानसभा चुनाव में सपा विपक्षी गठबंधन महाविकास अघाड़ी (MVA) का हिस्सा रही थी, लेकिन कई सीटों पर कांग्रेस के सामने सपा ने उम्मीदवार उतारे थे, जिसका सीधा फायदा भाजपा को हुआ। उन्होंने कहा कि खुद आदित्य ठाकरे ने भी चुनाव के बाद कहा था कि पूरे चुनाव में सपा ने भाजपा की मदद की और भाजपा की बी-टीम की तरह काम किया। निकाय चुनावों में भी समाजवादी पार्टी वही कर रही है।
वारिस पठान ने यह भी कहा कि पिछले चुनावों में एआईएमआईएम भी एमवीए गठबंधन का हिस्सा बनना चाहती थी, लेकिन उनके नेताओं के घमंड के कारण ऐसा नहीं हो पाया। जिसके बाद एआईएमआईएम ने अकेले चुनाव लड़ा, अब बीएमसी सहित राज्य के अन्य निकायों में भी हम अकेले लड़ेंगे और जनता का समर्थन हमें मिलेगा। कितनी सीटों पर एआईएमआईएम चुनाव लड़ेगी, इसका ऐलान जल्द किया जाएगा।
इससे पहले सपा विधायक अबू आजमी ने कहा था कि उनकी पार्टी विपक्षी गठबंधन से दूर रहना चाहती है, क्योंकि पिछले चुनाव में कांग्रेस ने अंतिम वक्त पर गठबंधन तोड़ दिया था। हालांकि आजमी ने यह भी कहा कि वे वोटों के बंटवारे के खिलाफ हैं और चाहते हैं कि सभी सेक्युलर पार्टियां मिलकर चुनाव लड़ें। लेकिन बड़ी पार्टियां राज्य में सपा को खत्म करना चाहती हैं, इसलिए ऐसा नहीं हो रहा है।